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रिंकू सिंह: घोटाला उजागर करने के लिए मारी गई थीं गोलियां, अब क्लीयर किया UPSC
रिंकू सिंह: घोटाला उजागर करने के लिए मारी गई थीं गोलियां, अब क्लीयर किया UPSC (तस्वीर- आजतक)

रिंकू सिंह: घोटाला उजागर करने के लिए मारी गई थीं गोलियां, अब क्लीयर किया UPSC

लेखन गौतम भगत
संपादन मुकुल तोमर
Jun 01, 2022
08:30 pm

क्या है खबर?

उत्तर प्रदेश के अधिकारी रिंकू सिंह राही जिन्हें एक घोटाले का पर्दाफाश करने के लिए सात गोलियां मारी गई थीं, उन्होंने संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) की सिविल सेवा परीक्षा पास कर ली है। अलीगढ़ के रहने वाले रिंकू ने सोमवार को जारी हुए UPSC के नतीजों में 683वीं रैंक लाकर अपना और अपने परिवार का नाम रोशन किया है। रिंकू 2008 में PCS अधिकारी बने थे और अभी वो समाज कल्याण अधिकारी के रुप में हापुड़ में कार्यरत है।

घटना

2008 में मुजफ्फरनगर में मारी गई थीं गोलियां

रिंकू सिंह राही 2008 में जब मुजफ्फरनगर में समाज कल्याण अधिकारी के तौर पर नियुक्त थे, उस वक्त उन्होंने 83 करोड़ रुपये के एक घोटाले का पर्दाफाश किया था। इसके कारण रिंकू पर जानलेवा हमला हुआ था और बदमाशों ने उन्हें सात गोलियां मारी थीं। अच्छी किस्मत होने के कारण रिंकू की जान बच गई, लेकिन उनको इस हमले में अपनी एक आंख गंवानी पड़ी थी। बाद में उनका ट्रांसफर भदोही जिले में कर दिया गया था।

शिक्षा

सरकारी स्कूल से हुई थी प्रारंभिक शिक्षा

रिंकू सिंह एक सामान्य परिवार से ताल्लुक रखते हैं। उनके पिता शिवदान सिंह गांव में आटा चक्की चलाने का काम करते थे। परिवार की आर्थिक स्थिति ठीक न होने के कारण रिंकू ने अपनी पढ़ाई सरकारी स्कूल से की थी। इंटर में अच्छे नंबर लाने पर उन्हें स्कॉलरशिप थी, जिसके दम पर उन्होंने टाटा इंस्टिट्यूट से BTech किया। इसके बाद उन्होंने PCS की तैयारी की जिसमें 2008 में उनका चयन हो गया।

उपलब्धि

हापुड़ में सिविल सेवा कोचिंग के डायरेक्टर रहे हैं रिंकू

भदोही के बाद रिंकू सिंह का कई जगह ट्रांसफर हुआ और वो कभी श्रावस्ती, कभी ललितपुर तो कभी हापुड़, पूरे उत्तर प्रदेश में घूमते रहे। हापुड़ में समाज कल्याण के पद पर रहते हुए रिंकू को उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा संचालित सिविल सेवा कोचिंग संस्थान के डायरेक्टर के पद पर नियुक्ति दी गई। जहां पर उनका काम सिविल सेवा के विद्यार्थियों को पढ़ाने का था।

प्रेरणा

कोचिंग के छात्रों से मिली रिंकू को प्रेरणा

रिंकू सिंह प्रतिदिन छात्रों को सिविल सेवा की कोचिंग दिया करते थे। उन्होंने बताया कि उनके कोचिंग के छात्र उनसे बार-बार सिविल सेवा की परीक्षा देने के लिए कहते थे। उनके कहने पर आखिरकार रिंकू ने इस बार सिविल सेवा की परीक्षा दी और अपने पहले ही प्रयास में प्री, मेन्स और इंटरव्यू क्लीयर कर सफलता का परचम लहरा दिया। अब कोचिंग में जश्न का माहौल है। रिंकू कहते है कि उनके लिए जनता की सेवा ज्यादा जरुरी है।

सिविल सेवा परीक्षा के नतीजे

न्यूजबाइट्स प्लस

UPSC की तरफ से जारी किए गए नतीजों के मुताबिक, सिविल सेवा परीक्षा में 685 उम्मीदवार सफल हुए हैं जिसमें से 508 पुरूष और 177 महिलाएं हैं। श्रुति शर्मा ने पहली रैंक हासिल की है। उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय से हिस्ट्री ऑनर्स की पढ़ाई की है। दूसरी रैंक हासिल करने वाली अंकिता अग्रवाल ने दिल्ली विश्वविद्यालय से इकोनॉमिक्स ऑनर्स में ग्रेजुएशन किया है, जबकि तीसरी रैंक हासिल करने वाली गामिनी सिंगला ने कंप्यूटर साइंस में इंजीनियरिंग की है।