इन स्कॉलरशिप की मदद से पूरा करें विदेश में पढ़ाई करने का अपना सपना

विदेश में पढ़ाई करना कई छात्रों का सपना होता है, लेकिन हर किसी का यह सपना पूरा नहीं हो पाता। इसका मुख्य कारण होता है पैसे की कमी, क्योंकि विदेश में पढ़ाई करने से पहले छात्रों को न केवल पढ़ाई की फीस, बल्कि विदेश में रहने-खाने के खर्च के बारे में भी सोचना पड़ता है। आज हम आपको बताएंगे कि आप किन स्कॉलरशिप के माध्यम से विदेश में पढ़ाई करने का अपना सपना पूरा कर सकते हैं।
अनुसूचित जाति के छात्रों के लिए सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय राष्ट्रीय प्रवासी स्कॉलरशिप योजना चलाता है। ये स्कॉलरशिप अनुसूचित जाति, विमुक्त खानाबदोश और अर्ध-घुमंतू जनजाति जैसे समुदायों के छात्रों के लिए है। चयन के लिए अप्रैल के पहले दिन तक इन श्रेणियों से संबंधित उम्मीदवारों की आयु 35 वर्ष से कम होनी चाहिए। ध्यान रहे कि इसके लिए सिर्फ वही छात्र आवेदन कर सकते हैं जिनके परिवार की वार्षिक आय आठ लाख रूपये से कम हो।
भारतीय छात्रों को टॉप रेटेड विश्वविद्यालयों में पूर्ण कालिक स्नातकोत्तर, M.Phil या डॉक्टरेट की पढ़ाई करने के लिए इनलक्स शिवदासानी छात्रवृत्ति से सम्मानित किया जाता है। सभी भारतीय नागरिक जो आवेदन की समय सीमा से कम से कम छह महीने पहले भारत में रहे हैं, वे इस छात्रवृत्ति के लिए पात्र हैं। विदेशी विश्वविद्यालय से स्नातकोत्तर डिग्री वाले छात्र और पहले ही किसी विदेशी विश्वविद्यालय में स्नातकोत्तर की पढ़ाई शुरू कर चुके छात्र इस स्कॉलरशिप के लिए योग्य नहीं हैं।
यह स्कॉलरशिप इजरायल की काउंसिल फॉर हायर एजुकेशन और द इजरायल एकेडमी ऑफ साइंसेज एंड ह्यूमैनिटीज की तरफ से दी जाती है। यह स्कॉलरशिप कार्यक्रम इंटरनेशनल पोस्ट-डॉक्टरल रिसर्चर के लिए है। इस कार्यक्रम के अंतर्गत पोस्ट-डॉक्टरेट करने वाले छात्रों को इजरायल के विश्वविद्यालयों में रिसर्च करने के लिए अधिकतम 20 फेलोशिप दिए जाते हैं। यह फेलोशिप साइंस, टेक्नॉलोजी, इंजीनियरिंग और मैथ्स, ह्यूमैनिटीज और सोशल साइंस में प्रदान की जाती है।
यूरोपीय संघ (EU) स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों के लिए एरैमस मंडस स्कॉलरशिप देता है। यह उन छात्रों को मिलती है जो एरैमस मंडस जॉइंट प्रोग्राम के स्नातकोत्तर और डॉक्टरेट लेवल पर अपनी जगह बनाते हैं। ऐसे छात्रों को उस पाठ्यक्रम को पूरा करने के लिए यह स्कॉलरशिप मिलती है। इसके तहत पूरी ट्यूशन फीस, यात्रा का खर्च, बीमा और रहने का खर्च दिया जाता है। यूरोप से बाहर रहने वाले छात्रों को यह स्कॉलरशिप मिलने की संभावनाएं अधिक होती है।
विदेश में पढ़ने के लिए सबसे पहले आपको इस बात का निश्चय करना होगा कि आपको किस क्षेत्र में करियर बनाना है। सही पाठ्यक्रम का चुनाव करने के लिए आप करियर विशेषज्ञ से भी मिल सकते हैं जो आपको आगे के लिए गाइड करेंगे। पाठ्यक्रम का चुनाव कर लेने के बाद यह भी आवश्यक है कि हम यह जानें कि वह पाठ्यक्रम कौन से विश्वविद्यालय प्रदान करते हैं। इसके बाद आपने जो विश्वविद्यालय चुना है, उसकी वेबसाइट भी देख लें।