स्टॉक एक्सचेंज ने अडाणी समूह की 3 कंपनियों को निगरानी पर रखा, RBI ने मांगी रिपोर्ट
हिंडनबर्ग रिपोर्ट के कारण मुसीबतों में घिरे अडाणी समूह की तीन कंपनियों को शेयर बाजार में निगरानी पर रख दिया गया है। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) ने इन कंपनियों को अल्पकालिक एडिशनल सर्विलांस मेजर (ASM) सूची में डाल दिया है। जिन कंपनियों को इस सूची में डाला गया है, उनमें अडाणी एंटरप्राइजेज, अडाणी पोर्ट्स और अंबुजा सीमेंट शामिल हैं। इसके अलावा भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने भी बैंकों से मामले पर रिपोर्ट मांगी है।
BSE और NSE ने क्या कहा?
BSE और NSE ने कहा कि अडाणी समूह की इन कंपनियों को ASM में डालने का फैसला पूरी तरह से बाजार निगरानी पर आधारित है और इसे कंपनियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं माना जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि कंपनियों ASM में शामिल किए जाने के मानदंडों को पूरा करती हैं। बता दें कि किसी भी कंपनी को हाई-लो वेरिएशन, क्लाइंट कंसंट्रेशन, प्राइस बैंड हिट्स की संख्या, क्लोज-टू-क्लोज प्राइस वेरिएशन और प्राइस-अर्निंग रेशियो के आधार पर ASM में डाला जाता है।
RBI ने भी दिया मामले में दखल
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने भी मामले में दखल देते हुए बैंकों से अडाणी समूह में उनके निवेश और कर्ज के बारे में जानकारी मांगी है। मामले की जानकारी रखने वाले सूत्रों ने इंडियन एक्सप्रेस को ये जानकारी दी। बैंकर्स ने बताया कि RBI ने अनाधिकारिक तौर पर उनसे समूह में उनके कुल निवेश और कर्ज के बारे में पूछा है। रॉयटर्स ने भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) के मामले की जांच करने की जानकारी भी दी है।
क्या है हिंडनबर्ग रिपोर्ट से संबंधित पूरा मामला?
अमेरिका स्थित हिंडनबर्ग रिसर्च ने अपनी रिपोर्ट में गौतम अडाणी पर 'कार्पोरेट जगत की सबसे बड़ी धोखाधड़ी' का आरोप लगाया है। इस रिपोर्ट में दावा किया गया है कि अडाणी समूह की कंपनियों पर इतना कर्ज है, जो पूरे समूह को वित्तीय तौर पर अधिक जोखिम वाली स्थिति में खड़ा कर देता है। अडाणी पर अपने परिवार के जरिए फर्जी कंपनी चलाने का आरोप भी लगाया गया है। समूह ने इन आरोपों को खारिज किया है।
रिपोर्ट के बाद समूह को हुआ लाखों करोड़ रुपये का नुकसान
पिछले हफ्ते हिंडनबर्ग की रिपोर्ट आने के बाद से ही अडाणी समूह से जुड़ी कंपनियों के शेयरों की कीमत में गिरावट जारी है और अकेले गुरुवार को ही अडाणी एंटरप्राइजेज के शेयरों की कीमत में 26 प्रतिशत की गिरावट आई। अडाणी समूह को अब तक 100 अरब डॉलर (8.2 लाख करोड़ रुपये) का नुकसान हो चुका है। इसके अलावा समूह ने 20,000 करोड़ रुपये का फॉलो-ऑन पब्लिक ऑफर (FPO) भी वापस लिया है।