बैन का असर: भारतीय यूजर्स ने कम कर दिया चाइनीज ऐप्स का इस्तेमाल
साल 2020 भारत में बड़े यूजरबेस वाली चाइनीज ऐप्स के लिए अच्छा नहीं रहा और सरकार ने सैकड़ों चाइनीज ऐप्स पर बैन लगा दिया। डाटा की सुरक्षा और देश की अखंडता के लिए खतरा मानते हुए बैन की गईं ऐप्स के विकल्प के तौर पर कई भारतीय ऐप्स लोकप्रिय हुई हैं। नई रिपोर्ट में कहा गया है कि साल 2020 में चाइनीज ऐप्स की लोकप्रियता घटी है और भारतीय यूजर्स चाइनीज ऐप्स का इस्तेमाल पहले से कम कर रहे हैं।
बड़ी चाइनीज ऐप्स पर लग चुका है बैन
पिछले साल भारत सरकार ने कई बार में 200 से ज्यादा चाइनीज ऐप्स पर बैन लगा दिया है। इन ऐप्स की लिस्ट में टिक-टॉक, PUBG मोबाइल, वीचैट, वीबो, शेयरइट, कैमस्कैनर और ब्यूटी प्लस जैसे नाम शामिल हैं, जिनके भारत में करोड़ों यूजर्स थे।
घट गया चाइनीज ऐप्स का शेयर
ऐप्सफ्लायर की रिपोर्ट में बताया गया है कि टॉप चाइनीज ऐप्स का शेयर 2019 में जहां 38 प्रतिशत था, पिछले साल घटकर केवल 29 प्रतिशत रह गया है। उन ऐप्स के इस्तेमाल में भी कमी आई है, जिनका ऐप मार्केट में बड़ा शेयर था और वे टॉप पोजीशन पर बनी हुई थीं। भारत-चीन सीमा पर देखने को मिले तनाव के बाद इन ऐप्स को बैन किया गया और भारतीय यूजर्स ने दूसरे देसी विकल्पों का इस्तेमाल शुरू कर दिया।
'मेड इन इंडिया' ऐप्स को मिला फायदा
लोकप्रिय चाइनीज ऐप्स पर बैन लगते ही भारतीय डिवेलपर्स ने मार्केट में पैदा हुई खाली जगह को भरने की कोशिश की और ढेरों नई ऐप्स रिलीज की गईं। रिपोर्ट में बताया गया है कि जहां चाइनीज ऐप्स का शेयर करीब नौ प्रतिशत कम हुआ है, वहीं भारतीय ऐप्स का शेयर 2020 में बढ़कर 39 प्रतिशत पर पहुंच गया। बैन की गईं ऐप्स के विकल्प के तौर पर चिंगारी, शेयरचैट, MX टकाटक और से नमस्ते जैसी ऐप्स खूब डाउनलोड की गईं।
छोटे शहरों में सबसे ज्यादा यूजर्स
रिपोर्ट में सामने आया है कि भारत में ऐप्स के सबसे ज्यादा यूजर्स टियर-2 और टियर-3 क्षेत्रों से हैं और इनका मार्केट शेयर करीब 85 प्रतिशत है। गेमिंग, इंटरटेनमेंट और फाइनांस कैटेगरी की ऐप्स भारत में सबसे ज्यादा लोकप्रिय हैं। ऐप्सफ्लायर इंडिया के कंट्री मैनेजर संजय त्रिशाल ने बताया, "सेमी-अर्बन क्षेत्रों में ऐप्स का इस्तेमाल बढ़ रहा है। यह मार्केटप्लेस अलग-अलग तरह के यूजर्स का है और उन्हें ऐप पर बनाए रखने के लिए पर्सनलाइज्ड कंटेंट देते रहना जरूरी है।"
पहले दिन अनइंस्टॉल होती हैं 27 प्रतिशत ऐप्स
यूजर्स नई ऐप्स को आजमाने के मामले में आगे बढ़े हैं लेकिन पसंद ना आने पर ऐप्स को हटाने में भी देर नहीं लगाते। साल 2020 में करीब 27 प्रतिशत ऐप्स को इंस्टॉल करने के पहले दिन ही अनइंस्टॉल कर दिया गया। शॉपिंग, फूड एंड ड्रिंक और ट्रैवल से जुड़ी ऐप्स का रिटेंशन रेट करीब 12 प्रतिशत कम हुआ है, यानी कि यूजर्स के डिवाइस में बने रहना ऐप्स के लिए बड़ी चुनौती है।