आंध्र प्रदेश: 42 दिन बाद आंगनबाड़ी कर्मचारियों की हड़ताल खत्म, क्यों सरकार के तेवर नरम पड़े?
क्या है खबर?
आंध्र प्रदेश में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने 42 दिन बाद अपनी हड़ताल खत्म कर दी है। मंगलवार को राज्य सरकार और कर्मचारियों के बीच 11 में से 10 मांगें पूरी करने पर सहमति बन गई।
हाल ही में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष वाईएस शर्मिला ने प्रदर्शनकारी कर्मचारियों से मिलने की बात कही थी। इसके बाद युवजन श्रमिक रायथू कांग्रेस पार्टी (YSRCP) की सरकार ने हड़ताल को खत्म करवा दिया।
आइए जानते हैं कि क्यों राज्य सरकार का रुख नम पड़ गया।
मांग
कर्मचारियों की किन मांगों पर सरकार सहमत?
राज्य सरकार ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की 10 मांगों पर सहमति जताई है।
इनमें वित्तीय वर्ष में निर्धारित वेतन वृद्धि, 2 लाख रुपये का दुर्घटना बीमा, नियुक्ति की आयु सीमा 45 से बढ़ाकर 50 साल और सेवानिवृत्ति आयु सीमा 62 साल करना, नियमित यात्रा और महंगाई भत्ते का भुगतान, सेवा समाप्ति के सभी लाभ और आंगनबाड़ी केंद्रों के भवनों के लिए किराये का आवंटन शामिल है।
सरकार आंगनबाड़ी केंद्रों के रखरखाव, मरम्मत और स्वच्छता के लिए आवंटित राशि भी बढ़ाएगी।
जानकारी
आंगनबाड़ी कर्मचारी संघ ने क्या कहा?
आंगनबाड़ी कर्मचारी संघ की अध्यक्ष जी रानी ने कहा कि प्रदेश सरकार ने उनकी लगभग सभी मांगों पर सहमति जताई है। उन्होंने कहा कि सरकार जल्द सभी मांगों को पूरा करेगी और सरकार के आश्वासन के बाद हड़ताल को खत्म कर दिया गया है।
मजबूरी
सरकार प्रदर्शनकारियों की मांगों के आगे क्यों झुकी?
राज्य सरकार ने हड़ताल की शुरुआत में सख्त रुख अपनाया था, लेकिन बदलते राजनीतिक घटनाक्रम से उसके तेवर पड़ गए।
मुख्यमंत्री और YSRCP प्रमुख जगन रेड्डी को उनकी बहन शर्मिला के कांग्रेस में शामिल होने से बड़ा झटका लगा है। तेलुगु देशम पार्टी (TDP) और अन्य विपक्षी पार्टियां भी इस आंदोलन की 'आग' को हवा दे रही थीं।
ऐसे में मुख्यमंत्री रेड्डी ने अपने खिलाफ बनते माहौल को देखते हुए रातों-रात ट्रेड यूनियन नेताओं से मिलकर हड़ताल खत्म करवा दी।
विपक्ष
विपक्ष का हड़ताल को लेकर क्या रुख था?
TDP प्रमुख चंद्रबाबू नायडू और जन सेना पार्टी (JSP) प्रमुख पवन कल्याण आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की हड़ताल शुरू होने के बाद से ही लगातार राज्य सरकार की आलोचना कर रहे थे।
उनका आरोप था कि मुख्यमंत्री रेड्डी ने कर्मचारियों के साथ बातचीत के लिए कोई जगह नहीं छोड़ी है और कर्मचारियों को सरकार की ओर से बर्खास्तगी की धमकी दी जा रही है।
अब हड़ताल खत्म होने के बाद विपक्षी नेताओं ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है।
सरकार
हड़ताल खत्म होने के बाद सरकार ने क्या कहा?
राज्य सरकार के शिक्षा मंत्री बोत्चा सत्यनारायण ने कहा कि कर्मचारियों से बातचीत के बाद 10 मांगों को पूरा करने पर सहमति बनी है।
उन्होंने कहा, "ये सराहनीय है कि आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने अपनी हड़ताल का राजनीतिकरण नहीं होने दिया और विपक्षी पार्टियों के उन्हें उकसाने के प्रयासों को विफल कर दिया।''
उन्होंने कहा, "विपक्ष हड़ताल के दौरान कर्मचारियों को भड़काने और गलत प्रचार करने की कोशिश में लगा था, लेकिन सरकार ने अपनी सहानुभूति और प्रतिबद्धता का प्रदर्शन किया।"