महामारी के बाद रियल एस्टेट ने पकड़ी रफ्तार, 2022 में 4 लाख घरों का हुआ निर्माण
बीता साल रियल एस्टेट डेवलपर्स के लिए अच्छा साबित हुआ। 2021 की तुलना में बीते साल निर्माण कार्यों में 44 प्रतिशत की वृद्धि के साथ देश के प्रमुख सात शहरों में लगभग 4.02 लाख आवास इकाईयों का निर्माण हुआ है। रियल एस्टेट कंसल्टेंट एनारॉक के मुताबिक, कोरोना महामारी चलते सरकार द्वारा लगाए लॉकडाउन में साल 2020 और 2021 में निर्माण कार्य बहुत प्रभावित हुए थे और साल 2021 में 2.79 लाख आवास इकाईयों का ही निर्माण हुआ था।
2017 के बाद बीते साल दर्ज हुई तेजी
एनारॉक एक रियल एस्टेट कंसल्टेंट कंपनी है, जो मुंबई महानगर, दिल्ली-NCR, पुणे, बेंगलुरू, हैदराबाद, चेन्नई और कोलकाता जैसे शहरों में आवासीय बाजार को ट्रैक करता है और इनकी बिक्री, नए लॉन्च, कीमतों और परियोजनाओं की निर्माण स्थिति का डाटा संकलित करता है। एनारॉक के आंकड़ों के मुताबिक, 2017 के बाद से साल 2022 में आवास इकाईयों के निर्माण में वृद्धि दर्ज की गई है। मुंबई महानगर क्षेत्र में 2022 में सबसे अधिक 1,26,720 आवास इकाईयों का निर्माण हुआ है।
प्रमुख शहरों में आवास इकाईयों में हुआ इजाफा
दिल्ली-NCR में आवास निर्माण में साल 2022 में 2021 की अपेक्षा मामूली गिरावट दर्ज की गई है और यहां 2022 में 86,300 इकाईयों का निर्माण हुआ। पुणे ने 2022 में 84,200 आवास इकाईयां पूरी हुईं, जबकि 2021 में यहां 46,080 इकाईयों का निर्माण हुआ था। इसी क्रम में बेंगलुरू, हैदराबाद और चेन्नई में संयुक्त रूप से 2021 में 63,870 इकाईयों के मुकाबले पिछले साल 81,580 इकाईयों निर्माण हुआ। इसके अलावा कोलकाता में 2022 के दौरान 23,190 आवास इकाईयां पूरी हुईं।
2023 में 5.44 लाख से अधिक इकाईयां होंगी पूरी- एनारॉक अध्यक्ष पुरी
एनारॉक के अध्यक्ष अनुज पुरी का कहना है कि साल 2022 भारत में रियल इस्टेट के लिए काफी अच्छा रहा है और ऐसे में मांग के अनुरूप डेवलपर्स अपने पहले लॉन्च किए गए प्रोजेक्ट्स को पूरा करने पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए। उन्होंने कहा कि 2023 में इन सात शहरों में 5.44 लाख से अधिक इकाईयां पूरी होने वाली हैं और अगर महामारी फिर से शुरू हो जाती है तो भी निर्माण गतिविधि कम से कम प्रभावित होगी।
इन प्रमुख सात शहरों में कितनी इकाईयों का होगा निर्माण?
2023 में दिल्ली-NCR में 1,66,850 इकाईयों को पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है और मुंबई महानगर में इस साल 1,32,900 इकाईयां तैयार होने की उम्मीद है। पुणे में 94,280 इकाईयां और बेंगलुरू में लगभग 73,470 इकाईयां इस साल में पूरी होनी है। हैदराबाद में 25,120 इकाईयां पूरी होने के लिए निर्धारित हैं, जबकि कोलकाता में 33,040 इकाईयां इस साल पूरी होंगी। चेन्नई में सबसे कम स्टॉक है क्योंकि केवल 18,550 इकाईयां 2023 में पूरी होने वाली हैं।
एनारॉक ने RERA और डेवलपर्स की वेबसाइट से डाटा किया है एकत्रित
एनारॉक ने कहा कि उसने निर्माण परियोजनाओं का डाटा प्राइमरी और सेकंडरी सोर्स से एकत्र किया है, जिसमें रियल एस्टेट रेगुलेटिंग अथॉरिटी (RERA) और डेवलपर्स की वेबसाइट शामिल हैं। इसके अलावा इसमें उन परियोजनाओं को भी शामिल किया गया है, जो निर्माण के विभिन्न चरणों में है। एनारॉक ने कहा कि वह उन विलंबित परियोजनाओं को भी शामिल करते हैं, जो अंततः संबंधित साल के दौरान पूरी हुईं हैं और इस डाटा सोर्स पर आधारित हैं।
निर्माण परियोजना में देरी को लेकर क्या कहते हैं जानकार?
विशेषज्ञों की मानें तो भारतीय शहरों में परियोजना में देरी ऐतिहासिक मुद्दा रही है और परियोजना के पूरा होने के आंकड़ों की प्रासंगिकता इस तथ्य से ओर बढ़ जाती है। उन्होंंने कहा कि जिन घरों का काम पूरा हो चुका है उनमें जोखिम नहीं है और ग्राहकों को एक ही समय में EMI और किराए का भुगतान करने की आवश्यकता नहीं है। एनारॉक ने कहा कि परियोजना के पूरा होने में देरी के कारण तैयार अपार्टमेंट्स की मांग बढ़ी है।