प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी को बैन करने के लिए विधेयक लाएगी सरकार, मार्केट क्रैश
क्या है खबर?
केंद्र सरकार प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी को बैन करने के लिए संसद के शीतकालीन सत्र में विधेयक लेकर आएगी। मंगलवार को सरकार ने लोकसभा में पेश किए जाने वाले विधेयकों की सूची जारी कि जिनमें क्रिप्टोकरेंसी से संबंधित विधेयक भी शामिल है।
इस विधेयक में सरकार ने खुद की आधिकारिक डिजिटल करेंसी लाने का प्रावधान भी किया है।
विधेयक का क्रिप्टो बाजार पर बुरा असर हुआ है और यह क्रैश कर गया। सभी बड़े सिक्के लगभग 15-20 प्रतिशत नीचे हैं।
प्रस्तावना
विधेयक में क्या होगा?
द क्रिप्टोकरेंसी एंड रेगुलेशन ऑफ ऑफिशियल डिजिटल करेंसी बिल, 2021 की प्रस्तावना में लिखा हुआ है कि इसका मकसद भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा जारी की जाने वाली आधिकारिक डिजिटल करेंसी के निर्माण के लिए फ्रेमवर्क तैयार करना है।
इसमें आगे लिखा है, "इसका मकसद भारत में सभी प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी को बैन करना भी है, हालांकि कुछ अपवादों को मंजूरी दी जाएगी ताकि क्रिप्टोकरेंसी की तकनीक और इसके उपयोगों को बढ़ावा दिया जा सके।"
मार्केट क्रैश
खबर आते ही क्रैश हुआ मार्केट, 15 से 20 प्रतिशत तक की गिरावट
सरकार के प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी को बैन करने के लिए विधेयक लाने की ये खबर रात को आई और इसके चंद मिनटों के अंदर ही क्रिप्टो मार्केट क्रैश कर गया। देर रात मार्केट थोड़ा संभला, लेकिन सुबह होते ही ये फिर से गिर गया
अभी बिटकॉइन में लगभग 16 प्रतिशत की गिरावट है, वहीं ईथेरियम 15 प्रतिशत की गिरावट पर ट्रेंड कर रहा है। सोलाना में भी लगभग 17.50 प्रतिशत की गिरावट आई है, वहीं रिपल में 15 प्रतिशत गिरावट है।
विचार-विमर्श
पिछले काफी समय से क्रिप्टो संबंधित कानून पर विचार कर रही थी सरकार
बता दें कि केंद्र की मोदी सरकार पिछले काफी समय से देश में क्रिप्टोकरेंसी के भविष्य पर विचार कर रही थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस संबंध में RBI, वित्त मंत्रालय, गृह मंत्रालय और विशेषज्ञों के साथ बैठक की थी। इसके अलावा संसदीय समिति ने भी मामले पर बैठक की थी।
इन बैठकों के बाद खबर आई थी कि सरकार क्रिप्टोकरेंसी को पूरी तरह से बैन करने की बजाय इसे रेगुलेट करने पर विचार कर रही है।
रुख
क्रिप्टोकरेंसी के खिलाफ है RBI, मैक्रो-इकोनॉमिक्स के लिए बताया खतरा
गौरतलब है कि भारत के केंद्रीय बैंक RBI का रुख क्रिप्टो के खिलाफ है और इसे बैन करने के सरकार के फैसले में RBI के इस रुख का अहम योगदान है।
RBI ने क्रिप्टो को देश की वित्तीय स्थिरता और मैक्रो-इकोनॉमिक्स के लिए खतरा बताया था। उसने क्रिप्टो की ट्रेडिंग करने वाले लोगों की संख्या और इसकी मार्केट वैल्यू पर भी शक व्यक्त किया था और इन्हें बढ़ा-चढ़ाकर पेश किए जाने की आशंका जताई थी।
बयान
प्रधानमंत्री मोदी ने भी दी थी क्रिप्टो को लेकर चेतावनी
प्रधानमंत्री मोदी ने भी क्रिप्टोकरेंसी को लेकर चेतावनी जारी की थी। उन्होंने कहा था कि सभी लोकतांत्रिक देशों को क्रिप्टोकरेंसी पर एक साथ काम करना होगा और ये सुनश्चित करना होगा कि ये ऐसे गलत हाथों में न पड़े जो युवाओं को बिगाड़ सकते हैं।
निवेशक
क्रिप्टो निवेशकों की संख्या के मामले में दुनिया में नंबर एक है भारत
बता दें कि भारत में क्रिप्टोकरेंसी का क्रेज दिन-प्रतिदिन बढ़ता जा रहा था और पूरी दुनिया में भारत में सबसे ज्यादा लोगों ने क्रिप्टोकरेंसी में निवेश किया है। ब्रोकरचूज के अनुसार, अक्टूबर में ही भारत में 10 करोड़ से अधिक क्रिप्टो निवेशक हो गए थे।
विशेषज्ञों का अनुमान है कि भारत में लोगों ने क्रिप्टो मार्केट में लगभग 40,000 करोड़ रुपये का निवेश किया हुआ है। हालांकि इस आंकड़े का सटीक अनुमान नहीं है।