
कार के ट्रांसमिशन फ्लश कराने के क्या हैं संकेत? जानने के बाद न करें अनदेखी
क्या है खबर?
ट्रांसमिशन सिस्टम आपकी गाड़ी के सबसे महत्वपूर्ण घटकों में से एक है। ड्राइविंग के दौरान गियर शिफ्ट में कोई परेशानी आती है तो इस सिस्टम में खराबी की तरफ इशारा करता है।
ट्रांसमिशन के सुचारू काम करने के लिए फ्लुइड होता है, जिसके खराब होने पर गियर परिवर्तन में दिक्कत आती है। ऐसे में ट्रांसमिशन फ्लुइड फ्लश कराना जरूरी है।
आइए जानते हैं ट्रांसमिशन फ्लुइड फ्लश के लिए आपकी कार क्या संकेत देती है।
अंतर
ट्रांसमिशन फ्लश और फ्लुइड बदलने में क्या है अंतर?
गियर बदलने में परेशानी, गियर का फिसलना और गाड़ी को कंट्रोल करने में परेशानी ट्रांसमिशन फ्लश की आवश्यकता का संकेत देता है।
ट्रांसमिशन फ्लश में ट्रांसमिशन फ्लुइड का 100 फीसदी बदलना शामिल है, जबकि नियमित फ्लुइड परिवर्तन में केवल फ्लुइड का लगभग आधा हिस्सा ही बदला जाता है।
ट्रांसमिशन फ्लश केवल तभी आवश्यक है, जब फ्लुइड लंबे समय तक उपयोग में आने के कारण दूषित हो गया या ट्रांसमिशन सिस्टम में कुछ गड़बड़ हो गई है।
घर्षण की आवाज
गियर बदलने में आती है आवाज
ट्रांसमिशन फ्लुइड गियर को चिकनाई देता है और यह धीरे-धीरे खराब होता जाता है और समय के साथ जलता जाता है।
इससे गियर घिसने लगते हैं, जिससे गियर बदलते समय घर्षण की आवाज आती है। यह ट्रांसमिशन को फ्लश कराने का संकेत है।
मैनुअल कार में शिफ्टर को हिलाने में परेशानी आना या ऑटोमैटिक कार में गियर बदलने के समय डगमगाना या रिवर्स करने में परेशानी ट्रांसमिशन फ्लश की जरूरत की तरफ इशारा करता है।
फिसलन
गियर का फिसलना भी है चिंता का विषय
गियर बदलने में परेशानी के साथ गियर फिसलना भी गंभीर समस्या को दर्शाता है। पर्याप्त ट्रांसमिशन फ्लुइड के बिना गियर आसानी से शिफ्ट होने लगते हैं।
इस कारण ट्रैफिक में बेतरतीब ढंग से गियर बदलता है, जो सुरक्षा के लिए चिंता का विषय है।
एक्सीलेटर पर ज्यादा दबाव नहीं देने पर भी गाड़ी का तेज स्पीड पकड़ना, कंट्रोल करने में परेशानी, इंजन का ज्यादा गर्म होना, फ्लुइड का रिसाव या अजीब गंध आना ट्रांसमिशन फ्लश कराने के संकेत हैं।