एंड्रॉयड ऑटो में आने वाला है बड़ा अपडेट, जानिये क्या होगा खास
हाल ही में कैलिफोर्निया में हुई वार्षिक डेवलपर कॉन्फ्रेंस में गूगल ने अपनी एंड्रॉयड ऑटो तकनीक में बड़े अपडेट्स की घोषणा की है। एंड्रॉयड ऑटो गूगल की एक बहुत प्रचलित तकनीक है, जिससे आप कार की इन्फोटेनमेंंट यूनिट से अपने स्मार्टफोन को कनेक्ट कर कई ऐप्स का इस्तेमाल कर सकते हैं। गूगल के अनुसार, नया अपडेट सॉफ्टवेयर में आने वाली स्क्रीन रेजोल्यूशन की दिक्कतों को दूर करेगा और डिवाइस को यूजर फ्रेंडली भी बनायेगा।
हर स्क्रीन के अनुकूल हो जायेगा सेट
नया अपडेट मुख्य रुप से कारों के अलग-अलग आकार वाले इन्फोटेनमेंंट डिस्प्ले के अनुकूल रेजोल्यूशन वाला होगा। इससे एंड्रॉयड ऑटो के यूजर इंटरफेस (UI) को कई लैंडस्केप और पोर्ट्रेट स्क्रीन ओरिएंटेशन विकल्प जैसै 16:9 हुंडई i20 में, 9:16 वोल्वो XC60 में आदि दिए जाएंगे। पहले एंड्रॉयड ऑटो में हर एक कार के लिये स्प्लिट स्क्रीन का फीचर नहीं होता था। नये अपडेट के बाद इसमें में हर स्क्रीन के अनुकूल सेट होने और स्प्लिट स्क्रीन की क्षमता भी होगी।
ये होंगे यूजर फ्रेंडली अपडेट्स
गूगल के आंकड़ों के मुताबिक ज्यादातर उपभोक्ता एंड्रॉयड ऑटो का इस्तेमाल मुख्य रूप से तीन फंक्शन- नेविगेशन, मीडिया और कम्युनिकेशन के लिए करते हैं। इसलिये एंड्रॉयड ऑटो स्क्रीन में अब इन तीनों पर ही फोकस होगा। ये तीन विकल्प यूजर को स्क्रीन पर हर समय दिखाई देंगे, जिससे यूजर को आसानी होगी। एक बड़ा बदलाव गूगल वॉइस असिस्टेंट में भी होगा। अब यह आपके कहने से मैसेज का रिप्लाई भी करेगी और डेस्टिनेशन का अनुमानित समय भी साझा कर सकेगी।
फोन से कंटेंट कास्ट कर पाएंगे यूजर्स
इन बदलावों की जानकारी देते हुए गूगल ने यह भी कहा कि कंपनी एंड्रॉयड ऑटो में कारों के लिये स्क्रीन कास्ट भी शामिल कर रही है। कंपनी ने बताया, "आने वाले दिनों में यूजर्स ना सिर्फ अपनी कार के डिस्प्ले पर वेब ब्राउजिंग कर सकेंगे बल्कि उन्हें अपने फोन से कार की स्क्रीन पर कंटेंट कास्ट करने का विकल्प भी दिया जाएगा।" इसका मतलब यह है कि फोन की स्क्रीन सीधे कार इंफोटेनमेंट डिस्प्ले पर दिखाई देगी।
न्यूजबाइट्स प्लस (जानकारी)
कार इंश्योरेंस की तुलना करने वाली कंपनी जेरी की स्टडी में पाया गया है कि एंड्रॉयड यूजर्स, आईफोन इस्तेमाल करने वालों के मुकाबले ज्यादा विनम्र होते हैं और बेहतर गाड़ी चलाते हैं। स्टडी में सामने आया कि एंड्रॉयड यूजर्स का सेफ-ड्राइविंग स्कोर बेहतर रहा।