जापान के इस गांव में इंसानों से ज्यादा हैं गुड़ियां, इसकी वजह क्या है?
जापान में एक गांव ऐसा है, जहां इंसान कम और गुड़ियां ज्यादा दिखाई देती हैं। यकीनन यह बात जानकर आपको हैरानी हो रही होगी, लेकिन सच यही है। यह गांव इतना वीरान पड़ा था कि यहां रहने वाली एक महिला ने कई आदमकद गुड़ियां बनाईं, ताकि इनसे लोगों की तन्हाई दूर की जा सके। इन गुड़ियों की संख्या गांव में बचे हुए निवासियों से 10 गुना से भी ज्यादा है। चलिए इसके बारे में विस्तार से जानते हैं।
किसने बनाईं आदमकद गुड़ियां?
इंसानों की जगह गुड़ियों से भरे इस गांव का नाम नागोरो है। इन्हें सुनामी अयानो नामक एक महिला ने बनाया है। उन्होंने अपने बगीचे में लगाए गए बीजों को पक्षियों को खाने से रोकने के लिए एक गुड़िया बनाई थी, जिसे उन्होंने अपने पिता के कपड़े पहनाए थे। इसे देखकर एक व्यक्ति ने सोचा कि वो अयानो के पिता ही हैं। इसके बाद से अयानो ने ढेर सारी आदमकद गुड़ियां बनाकर पूरे गांव को इनसे भर दिया।
3 दिन में तैयार हो जाती है गुड़िया
अयानो बताती हैं कि वह गुड़ियां बनाने के लिए अखबार और कपड़ों का इस्तेमाल करती हैं और उन्हें इंसानों जैसा दिखाने के लिए वह मेकअप का सहारा लेती हैं। उन्हें एक गुड़िया को तैयार करने में 3 दिन लग जाते हैं। अयानो द्वारा बनाई गईं गुड़ियां स्कूल, दुकान और बस स्टॉप जैसे हर जगह पर बैठी दिखाई देती हैं। इसकी वजह से ही गांव थोड़ा-बहुत भरा हुआ लगता है।
इस गांव में लोग क्यों नहीं रहते?
नागोरे गांव में पिछले 20 साल में किसी भी बच्चे का जन्म नहीं हुआ। इसकी वजह है कि यहां युवाओं की संख्या करीब खत्म हो चुकी है। यहां के ज्यादातर लोग शहर में जाकर बस गए और कुछ लोगों की मृत्यु हो चुकी है। ऐसे में अब गांव में कुछ ही लोग बचे हैं। कम जनसंख्या के कारण पूरा गांव वीरान-सा हो गया। इसी चीज से उबरने के लिए अयानो ने गांव को गुड़ियों से भर दिया।
गांव को लेकर बन चुकी है डॉक्यूमेंट्री
जानकारी के मुताबिक, जर्मन फिल्म मेकर फ्रिट्ज शूमन ने साल 2014 में इस गांव को लेकर एक डॉक्यूमेंट्री भी बनाई थी। इस डॉक्यूमेंट्री का 'वैली ऑफ द डॉल्स' है और इसके बाद से ही इस गांव को पुतलों का गांव भी कहा जाने लगा है।
भारत में है यह अनोखा गांव
हिमाचल प्रदेश के कुल्लू में भी एक अनोखा गांव मौजूद है। इस गांव का नाम मलाणा है। यहां घूमने आने वाले व्यक्ति को किसी भी चीज को छूने की इजाजत नहीं होती है। इतना ही नहीं, अगर किसी व्यक्ति ने यहां का कोई सामान छू लिया तो उसे 1,000 या 2,500 रुपये तक का जुर्माना भरना पड़ सकता है। यहां दुकानदार सामान देने के लिए चीजें जमीन पर रख देते और खरीदार पैसे जमीन पर रखकर सामान उठा लेते हैं।