प्रीमियर लीग: चेल्सी पर लगा दो ट्रांसफर विंडो का बैन, फीफा ने भारी जुर्माना भी लगाया
क्या है खबर?
प्रीमियर लीग क्लब चेल्सी पर अगले दो ट्रांसफर विंडो में खिलाड़ियों को साइन करने पर रोक लगा दी है।
यह रोक फीफा ने अपनी जांच में चेल्सी को 18 साल से कम उम्र के खिलाड़ियों को साइन करने के लिए बनाए गए नियमों को तोड़ने का दोषी पाने के बाद लगाई है।
इसका मतलब यह है कि चेल्सी 2020 के समर तक किसी नए खिलाड़ी को साइन नहीं कर सकेगी।
जानें, क्या है पूरी खबर।
बयान
नियम तोड़ने की दोषी पाई गई है चेल्सी- फीफा
फीफा ने अपने बयान में कहा कि चेल्सी ने 29 नाबालिग खिलाड़ियों को साइन करने के लिए आर्टिकल 19 के नियमों का उल्लंघन किया है।
चेल्सी ने खिलाड़ियों के पंजीकरण से जुड़े नियम भी तोड़े हैं।
चेल्सी को नाबालिगों के विषय में दो समझौतों के संबंध में आर्टिकल 18bis में उल्लिखित नियमों को तोड़ने का भी दोषी पाया गया है।
इसके अलावा क्लब ने अन्य क्लबों को भी ट्रांसफर के संदर्भ में प्रोत्साहित किया है।
जुर्माना
चेल्सी पर लगा 5 लाख 99 हजार डॉलर का जुर्माना
चेल्सी पर खिलाड़ियों को साइन करने पर तो बैन लगाया ही गया है, इसके अलावा क्लब पर भारी जुर्माना भी लगाया गया है।
फीफा ने चेल्सी पर 5 लाख 99 हजार डॉलर का भारी जुर्माना ठोंका है।
हालांकि, क्लब भले ही किसी नए खिलाड़ी को साइन नहीं कर सकती है, लेकिन इस बीच वे अपने किसी भी खिलाड़ी को लोन पर भेज सकते हैं और किसी भी खिलाड़ी को रिलीज भी कर सकते हैं।
जानकारी
चेल्सी के पास है 90 दिनों का समय
फीफा ने चेल्सी को साइन किए गए सभी खिलाड़ियों के बारे में स्थिति साफ करने के लिए 90 दिनों का समय दिया है। क्लब ने कहा है कि वह इस निर्णय का खंडन करते हैं और फीफा अनुशासन समिति में इसके खिलाफ अपील करेंगे।
2009
2009 में भी चेल्सी पर लगा था बैन
3 सितंबर, 2009 को चेल्सी पर किसी भी नए खिलाड़ी को जनवरी और समर 2010 ट्रांसफर विंडो में साइन करने पर बैन लगा दिया गया था।
इसके पीछे 2007 में लेन्स छोड़कर चेल्सी ज्वाइन करने वाले फ्रेंच विंगर गाएल ककूता थे। जांच में पता चला था कि ककूता ने लेन्स के साथ अपना कॉन्ट्रैक्ट तोड़ा था।
हालांकि, चेल्सी 7 लाख 93 हजार पौंड का जुर्माना भरने पर सहमति जता दी थी जिसके बाद उनसे बैन हटा लिया गया था।
नियम
इन 3 नियमों के तहत होता है नाबालिग खिलाड़ियों का इंटरनेशनल ट्रांसफर
इंटरनेशनल ट्रांसफर के पहले नियम के मुताबिक यदि खिलाड़ी के माता-पिता दूसरे देश में चले जाएं तो ट्रांसफर हो सकता है।
इसके अलावा यदि खिलाड़ी 16 से 18 साल के बीच का है तो ट्रांसफऱ यूरोपियन यूनियन के अंतर्गत होता है।
तीसरे नियम के मुताबिक ट्रांसफर होने के लिए खिलाड़ी का घर नेशनल बॉर्डर क्रॉस करने के बाद ज़्यादा से ज़्यादा 50 किमी की दूरी पर होना चाहिए।
बार्सिलोना
2014 में बार्सिलोना पर भी लगा था बैन
2014 में स्पैनिश क्लब बार्सिलोना पर भी नाबालिग खिलाड़ियों की इंटरनेशनल ट्रांसफर और गलत पंजीकरण के लिए लगातार दो विंडो का बैन लगाया गया था।
बैन के अलावा बार्सिलोना पर 3 लाख 5 हजार पौंड का जुर्माना भी लगाया गया था, लेकिन ट्रांसफऱ विंडो के खत्म होने तक बैन को अस्थाई तौर पर हटा लिया गया था।
समर 2014 में बार्सिलोना ने मार्क आंद्रे टेर स्टेगन, लुइस सुआरेज़ और थॉमस वर्माइलेन जैसे खिलाड़ियों को साइन किया था।