
पुरानी भारतीय नृत्य की शैली है कथक, जानिए इससे जुड़ी महत्वपूर्ण बातें
क्या है खबर?
कथक एक पुरानी भारतीय नृत्य की शैली है, जो भारत के उत्तरी भागों में खासकर उत्तर प्रदेश में मशहूर है।
यह नृत्य अपनी अनोखी कहानियों, लयबद्ध चालों और आकर्षक कपड़ों के लिए जानी जाती है।
कथक में कहानी सुनाना, नाच-गाना और संगीत का मेल होता है, जो इसे अन्य नृत्य की शैलियों से अलग बनाता है।
आइए आज हम आपको इस पारंपरिक नृत्य से जुड़ी महत्वपूर्ण बातें बताते हैं।
#1
कथक शब्द की उत्पत्ति और इसकी प्राचीनता
कथक शब्द की उत्पत्ति संस्कृत के 'कथा' शब्द से हुई है, जिसका मतलब होता है 'कहानी'। यह नृत्य प्राचीन काल से ही धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यक्रमों का हिस्सा रही है।
मुगल काल में इस नृत्य को खासतौर पर लोकप्रिय बनाया गया, जब इसे दरबारी नृत्य के रूप में प्रस्तुत किया जाने लगा।
इस दौरान कथक ने कई नए रूप और शैलियां अपनाई, जो आज भी देखी जाती हैं।
#2
कथक की विशेषताएं और तकनीक
कथक की सबसे बड़ी खासियत इसकी लयबद्ध चालें और हाथों की मुद्राएं हैं। इसमें कलाकार तेजी से पैर मारते हुए घुंघरू पहनकर नाचते हैं, जिससे संगीत की ताल मिलती है।
इसके अलावा हाथों की मुद्राएं भी बहुत अहम होती हैं, जो कहानी को जीवंत रूप देती हैं। कथक में चेहरे के भाव भी जरूरी भूमिका निभाते हैं, जिससे कहानी का भाव दर्शकों तक पहुंचता है।
यह नृत्य अपनी तकनीकी दक्षता और सुंदरता के लिए जानी जाती है।
#3
कथक की वेशभूषा और गहने
कथक की वेशभूषा बहुत ही आकर्षक होती है, जिसमें महिलाएं लंहगा चोली पहनती हैं जबकि पुरुष कुर्ता-पायजामा पहनते हैं।
इन कपड़ों पर कढ़ाई और चमकदार काम होता है, जो मंच पर चमकते हैं। महिलाओं की वेशभूषा में भारी गहने जैसे कान की बालियां, नथ, कंगन आदि शामिल होते हैं, जो उनके लुक को पूरा करते हैं।
यह सभी पोशाकें और गहने नृत्य की सुंदरता को बढ़ाते हैं और दर्शकों पर गहरा प्रभाव डालते हैं।
#4
कथक का संगीत और वाद्ययंत्र
कथक नृत्य के साथ-साथ संगीत भी बहुत अहम होता है, जिसमें तबला, हारमोनियम, सारंगी जैसे संगीत के सामान शामिल होते हैं।
ये वाद्ययंत्र नृत्य की ताल को बनाए रखते हैं और कलाकारों को मार्गदर्शन करते हैं। इसके अलावा गायन भी अहम हिस्सा होता है, जिसमें भक्ति गीत या प्रेम गीत गाए जाते हैं। इस प्रकार संगीत और वाद्ययंत्र का मेल कथक को एक अनोखा अनुभव बनाता है, जो दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर देता है।
#5
भारत समेत दुनियाभर में मशहूर है कथक
भारत समेत दुनियाभर में कथक काफी मशहूर है। विदेशों में भारतीय सांस्कृतिक कार्यक्रमों में इसे प्रस्तुत किया जाता है, जिससे विदेशी दर्शक भी इसकी सुंदरता के कायल हो जाते हैं।
कई अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारतीय कलाकारों ने अपने बेहतरीन प्रदर्शन से दुनियाभर में भारत का नाम रोशन किया है।
इस प्रकार कथक केवल एक नृत्य की शैली नहीं बल्कि भारतीय संस्कृति और विरासत का अहम हिस्सा है, जो सदियों से लोगों का मनोरंजन करता आ रहा है।