अहमदाबाद: कोरोना संक्रमित की मौत के बाद परिजनों का अस्पताल में उपद्रव, तीन गिरफ्तार
गुजरात के अहमदाबाद में कोरोना वायरस से संक्रमित महिला की मौत के बाद उसके परिजनों ने अस्पताल में जमकर हंगामा और तोड़फोड़ की। पुलिस के अनुसार, परिजन डंडे लेकर डॉक्टरों और मेडिकल स्टाफ के पीछे भागे और ICU वार्ड में रखे कंप्यूटर और अन्य उपकरणों को तोड़ दिया। उन्होंने इन उपकरणों में आग लगाने की कोशिश भी की। पुलिस ने मौके पर पहुंच कर स्टाफ को बचाया। मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
सोला के सरकारी अस्पताल का है मामला
मामला अहमदाबाद के सोला के सरकारी अस्पताल का है। पुलिस के अनुसार, थलतेज की रहने वाली 45 वर्षीय रीना यादव की कोरोना संक्रमण से मौत के बाद सोमवार सुबह 12:30 बजे उसके परिजनों ने छठवीं मंजिल पर स्थित ICU वार्ड में हंगामा किया। पुलिस ने बताया कि मृतक के चार-पांच संबंधी ICU वार्ड में घुसे और डॉक्टरों और मेडिकल स्टाफ के पीछे भागना शुरू कर दिया। इसके बाद उन्होंने ICU के कंप्यूटर और अन्य मेडिकल उपकरणों को तोड़ दिया।
8 अप्रैल को भर्ती हुई थीं रीना, रविवार रात 12 बजे हुई मौत
अस्पताल के इनचार्ज रेजिडेंट मेडिकल अधिकारी (RMO) प्रदीप पटेल ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया, "मरीज को 8 अप्रैल को अस्पताल में भर्ती कराया गया था और सांस लेने में दिक्कत होने के बाद उन्हें ICU में शिफ्ट किया गया था। रविवार को रात लगभग 10 बजे उनकी तबीयत खराब हो गई और उनके परिजनों को फोन करने की कोशिश की गई लेकिन किसी ने फोन नहीं उठाया। लगभग 12 बजे मरीज की मौत हो गई।"
डंडे लेकर नर्सों और डॉक्टरों के पीछे भागे परिजन- पटेल
पटेल ने आगे बताया, "मौत की जानकारी मिलने पर मरीज के परिजन गुस्से में आ गए और कर्मचारियों को गाली देना और मारना शुरू कर दिया। वे नर्सों और डॉक्टरों के पीछे डंडे लेकर भागे और उन्हें अपनी जान बचाने के लिए पांचवीं मंजिल पर छिपना पड़ा। उन्होंने इसके बाद कंप्यूटर, CPU और अन्य मेडिकल उपकरणों को तोड़ दिया और ICU वार्ड की बिजली की केबल काट दी। उन्होंने स्पिरिट बोतलों को तोड़कर आग लगाने की कोशिश भी की।"
परिजनों ने दरवाजों और खिड़कियों को भी तोड़ा, पुलिस ने स्टाफ को बचाया
पटेल ने कहा कि परिजनों ने पांचवीं मंजिल पर जहां कर्मचारी छिपे हुए थे, वहां कांच के दरवाजों और खिड़कियों को भी तोड़ दिया और पुलिस ने मौके पर पहुंच कर स्टाफ को बचाया। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि अस्पताल से कॉल आने के बाद वे मौके पर पहुंचे और तीन लोगों को गिरफ्तार किया। गिरफ्तार किए गए आरोपियों की पहचान उदय ठाकुर, सागर ठाकुर और जितेंद्र ठाकुर के तौर पर हुई है।
आरोपियों पर लगाई गई ये धाराएं
आरोपियों पर भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 323 (चोट पहुंचाना), 294B (अश्लीलता), 186 (सरकारी कर्मचारी को काम करने से रोकना), 336 (मानवीय जीवन को खतरे में डालने वाला दुस्साहसी कार्य) और 114 (अपराध के लिए उकसाना) के तहत मामला दर्ज किया गया है।