उत्तर प्रदेश: संभल में सांप्रदायिक हिंसा में 4 लोगों की मौत, इंटरनेट और स्कूल बंद
उत्तर प्रदेश के संभल में रविवार को मस्जिद सर्वेक्षण को लेकर शुरू हुआ विरोध सांप्रदायिक हिंसा में बदल गया, जिसमें 4 लोगों की मौत हुई है और 22 से अधिक पुलिसकर्मी घायल हैं। पुलिस ने 2 महिलाओं समेत 21 लोगों को हिरासत में लिया है। एहतियात के तौर पर इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई हैं और स्कूल-कॉलेज को खोलने से मना किया गया है। पूरे जिले में भारी संख्या में पुलिस बल तैनात है।
30 नवंबर तक बाहरी व्यक्ति के संभल में प्रवेश से रोक
पुलिस ने बताया कि हिंसा में मारे गए 4 लोगों की पहचान नौमान, बिलाल, नईम और मोहम्मद कैफ के रूप में हुई है। इनमें 2 की मौत देसी पिस्तौल से गोली लगने से हुई है। 2 अन्य की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट का इंतजार है। जिला प्रशासन ने नाजुक स्थिति को देखते हुए 30 नवंबर तक संभल जिले में किसी भी बाहरी व्यक्ति, सामाजिक संगठन या फिर जनप्रतिनिधि के प्रवेश पर रोक लगा दी है।
राहुल गांधी ने राज्य सरकार को निशाने पर लिया
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने संभल की घटना पर उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार को निशाने पर लिया। उन्होंने एक्स पर लिखा, 'संभल में हालिया विवाद पर राज्य सरकार का पक्षपात और जल्दबाज़ी भरा रवैया बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। हिंसा और फायरिंग में जिन्होंने अपनों को खोया है उनके प्रति मेरी गहरी संवेदनाएं हैं। प्रशासन द्वारा बिना सभी पक्षों को सुने और असंवेदनशीलता से की गई कार्रवाई ने माहौल और बिगाड़ दिया, जिसकी सीधी ज़िम्मेदार भाजपा सरकार है।'
राहुल गांधी का संदेश
प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने दिया बयान
कैसे शुरू हुई हिंसा?
संभल में 19 नवंबर से तनाव की स्थिति है। दरअसल, स्थानीय कोर्ट ने जामा मस्जिद के सर्वेक्षण का आदेश दिया था। याचिका में दावा था कि मस्जिद के स्थान पर हरिहर का मंदिर है। रविवार को सुबह 7:30 बजे वकील और कमिश्नर सर्वेक्षण के लिए पहुंचे थे। तभी मस्जिद के बाहर भीड़ जमा होने लगी और हंगामा शुरू कर दिया। अधिकारियों और मस्जिद के सदर ने भीड़ को शांत कराने की कोशिश की, लेकिन पथराव और आगजनी शुरू हो गई।