जानिए ऐसे पांच स्कूलों के बारे में जो इनोवेटिव तरीकों से दे रहे हैं शिक्षा
ज्यादातर छात्र ऐसा करियर विकल्प चुनना चाहते हैं, जिसमें वे अच्छा करियर बना सकें। परीक्षा में अच्छा स्कोर करने के लिए के सही और अच्छा सीखना जरुरी है। समय से साथ-साथ छात्रों के पढ़ने और उन्हें सिखाने का तरीका भी बदलता जा रहा है। आज के छात्र नई तरीकों से पढ़ना और सीखना चाहते हैं। वहीं कई स्कूल भी पूराने तरीकों को पीछे छोड़कर इनोवेटिव तरीकों से छात्रों को पढ़ा रहे हैं। आइए ऐसे ही स्कूलों के बारे में जानें।
गुरूग्राम के इस स्कूल में है ओपन क्लासरुम
गुड़गांव का स्कूल वेगा का मानना है कि स्कूलों को छात्रों के लिए एक आनंदपूर्ण स्थान बनाया जाए। जहां वे ज्ञान के साथ-साथ नए अनुभव भी शेयर कर सकें और अपनी समझ को बढ़ाने के लिए बचपन से ही समस्या समाधान गतिविधियों में शामिल हो पाएं। इसका पाठ्यक्रम एक इनोवेटिव मानसिकता विकसित करने के लिए वैज्ञानिक रूप से डिजाइन किया गया है। बता दें कि इस स्कूल में विशेष रूप से डिजाइन किए गए ओपन क्लासरूम हैं।
शेम्फोर्ड ग्रुप ऑफ फुचूरिस्टिक स्कूल है एक यूनिक स्कूल
शेम्फोर्ड ग्रुप ऑफ फुचूरिस्टिक स्कूल्स एक ऐसी यूनिक शैक्षणिक संस्थान है, जो छात्रों के लिए आरामदायक और आकर्षक सीखने का माहौल बनाता है। जिससे छात्र खुद स्कूल जाने की इच्छा रखें। हाल ही में शेमफोर्ड के संस्थापक ने एक अन्य कॉन्सेप्ट के साथ गुडगांव में '9-6' स्कूल की स्थापना की है। इससे माता-पिता को ऑफिस जाने से पहले और आने के बाद में अपने बच्चों स्कूल छोड़ने और लाने में आसानी रहेगी।
परवरिश द म्यूजियम स्कूल वंचित छात्रों को करता है शिक्षित
भोपाल का परवरिश द म्यूजियम स्कूल का उद्देश्य शिक्षा में असमानता को कम करना है। ये वंचित छात्रों को लोकल म्यूजियम के माध्यम से पढ़ता है। ये झुग्गी-झोपड़ियों के स्कूल न जाने वाले बच्चों को अच्छे स्कूलों में प्रवेश दिलाने के लिए तैयार करता है।
द लेवलफील्ड स्कूल छोटे शहरों के छात्रों को देता है शिक्षा
पश्चिम बंगाल के द लेवलफील्ड स्कूल का उद्देश्य छोटे शहरों से आने वाले छात्रों को उच्च गुणवत्ता और सस्ती शिक्षा की सुविधा देना है। द लेवलफील्ड स्कूल पाठ्यपुस्तकों का कम उपयोग करता है और बाहरी क्लासरुम, खेल, पहेली जैसे अच्छी और आकर्षक गतिविधियों के माध्यम से छात्रों को शिक्षा प्रदान करने पर ध्यान केंद्रित करता है। इसके माध्यम से छोटे शहरों के छात्रों को भी अच्छी शिक्षा मिल रही है।
इस फिलोशिपी से प्रेरित है येलो ट्रेन स्कूल
तमिलनाडु के कोयंबतूर और ऑर्गेनिक फॉर्म में स्थित एक प्रगतिशील येलो ट्रेन स्कूल छात्रों को पाठ्यपुस्तकों और पाठों के माध्यम से पढ़ाने के बजाय एक अलग ही दृष्टिकोण से शिक्षित कर रहा है। इस स्कूल का मानना है कि छात्रों को प्रकृति के बीच पढ़ाए जाने से वे और भी अधिक और बेहतर तरीके से सीख सकते हैं। आपको बता दें कि येलो ट्रेन, रूडोल्फ स्टेनर की फिलोशिपी से प्रेरित है।