
भारत फोरकास्ट सिस्टम हुआ लॉन्च, जानिए यह कैसे करेगा मौसम की सटीक भविष्यवाणी
क्या है खबर?
पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय ने पुणे में भारत फोरकास्ट सिस्टम (BFS) नाम की नई हाई-रेजोल्यूशन मौसम प्रणाली लॉन्च की है।
यह पूरी तरह से भारत में बनी है और इसे भारतीय उष्णकटिबंधीय मौसम विज्ञान संस्थान (IITM) ने विकसित किया है। इसका उद्घाटन मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने किया है।
यह नई प्रणाली मौसम की सटीक भविष्यवाणी करने में मदद करेगी, जिससे देश को प्राकृतिक आपदाओं से निपटने में सहायता मिलेगी।
खासियत
नई प्रणाली की खासियत क्या है?
BFS प्रणाली 6 किलोमीटर की हाई-रेजोल्यूशन पर मौसम का पूर्वानुमान देती है, जो पहले 12 किलोमीटर हुआ करता था। इसका मतलब है कि यह और भी अधिक बारीकी से मौसम की जानकारी दे सकती है।
इस प्रणाली को IITM के अत्याधुनिक 'अर्का' सुपरकंप्यूटर द्वारा चलाया जाएगा, जो 11.77 पेटाफ्लॉप की ताकत और 33 पेटाबाइट स्टोरेज क्षमता रखता है। यह पुरानी तकनीक की तुलना में कहीं अधिक तेज और सटीक है।
काम
कैसे काम करती है ये प्रणाली?
यह प्रणाली 40 डॉपलर वेदर रडार के डाटा को जोड़ती है, जिसे आने वाले समय में 100 तक बढ़ाया जा सकता है। यह 'नाउकास्ट' नाम की एक खास सुविधा से जुड़ी है, जो 2 घंटे पहले का सबसे सटीक पूर्वानुमान देती है।
इसके साथ ही, इसमें आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) और मशीन लर्निंग (ML) तकनीक को जोड़ा गया है, जिससे मौसम की छोटी-बड़ी घटनाओं का अनुमान और भी बेहतर हो सकेगा।
अन्य
अन्य अहम जानकारियां
BFS प्रणाली का डाटा पूरी दुनिया के वैज्ञानिकों के लिए खुला रहेगा, जिससे वैश्विक स्तर पर भी शोध में सहयोग बढ़ेगा।
यह प्रणाली भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) के INSAT और IRS सैटेलाइट्स से डाटा लेती है और UK मेट ऑफिस जैसे अंतरराष्ट्रीय संस्थानों के साथ मिलकर काम करता है।
इससे भारत को उष्णकटिबंधीय मौसम विज्ञान के क्षेत्र में वैश्विक नेतृत्व की ओर बढ़ने में मदद मिलेगी। इससे आपदा से लड़ने में भी मदद मिलेगी।