क्या बहुत ज्यादा खाते हैं फ्रोजन फूड? जानिए इससे होने वाले नुकसान
आजकल युवाओं के बीच फ्रोजन फूड्स खाने का चलन तेजी से बढ़ रहा है। जिन लोगों के पास समय की कमी होती है या घर से दूर रहते हैं, वे अक्सर ऐसे खाद्य पदार्थों का सेवन करते हैं। घर में बने ताजे खाने की तुलना में फ्रोजन फूड को स्वास्थ्य के लिए खराब माना जाता है क्योंकि इन्हें लंबे समय तक संग्रहित करने के लिए हाइड्रोजनीकृत पाम तेल का इस्तेमाल किया जाता है, जो हानिकारक ट्रांस वसा होती है।
बढ़ सकता है मधुमेह का खतरा
फ्रोजन फूड्स को लंबे समय तक ठीक रखने के लिए स्टार्च का इस्तेमाल किया जाता है। यह स्टार्च खाने का स्वाद तो बढ़ा देता है, लेकिन इसे पचाना मुश्किल हो जाता है। इसके अतिरिक्त ऐसा खाना खाने से शरीर ग्लूकोज को शुगर में बदल देता है और अधिक शुगर से मधुमेह का खतरा बढ़ जाता है। इससे शरीर के ऊतकों को भी नुकसान पहुंचता है। यहां जानिए अल्ट्रा प्रोसेस्ड फूड्स के नुकसान।
हृदय के लिए है हानिकारक
फ्रोजन फूड्स खाने से हृदय रोग का खतरा बढ़ जाता है। फ्रोजन फूड में उच्च मात्रा में ट्रांस फैट होता है, जो धमनियों में खून के थक्के की समस्या को बढ़ाता है। ट्रांस फैट शरीर में खराब कोलेस्ट्रॉल को बढ़ाता है और अच्छे कोलेस्ट्रॉल को कम करता है। इससे हार्ट अटैक का खतरा काफी बढ़ जाता है। साथ ही ऐसे खाने में सोडियम की मात्रा ज्यादा होती है, जो ब्लड प्रेशर को बढ़ा सकती है।
वजन में हो सकती है बढ़ोतरी
फ्रोजन फूड्स में काफी ज्यादा फैट होता है, जिससे मोटापा बढ़ सकता है। इस तरह के खाने को पोषक तत्वों से भरपूर कहा जाता है, लेकिन डॉक्टर इसे सेहत के लिए धीमा जहर मानते हैं। इस खाने में फैट के अलावा दोगुनी कैलोरी होती है। अगर आप एक कप फ्रोजन मटर खाते हैं तो यह लगभग 600 कैलोरी दे सकता है। यहां जानिए वजन घटाने में सहायक भारतीय मसाले।
कैंसर की बढ़ जाती है संभावना
जो लोग ज्यादा फ्रोजन फूड खाते हैं, उनमें कैंसर का खतरा काफी बढ़ जाता है। कई शोधों से पता चला है कि फ्रोजन फूड्स, खासतौर से फ्रोजन चिकन खाने से अग्नाशय कैंसर का खतरा बढ़ जाता है। एक अध्ययन के मुताबिक, फ्रोजन मसालेदार चिकन, हॉट डॉग और सॉसेज खाने से कैंसर का खतरा 65 फीसदी तक बढ़ जाता है। यहां जानिए कैंसर से जुड़ी गलत धारणाएं और उनकी सच्चाई।
नींद में हो सकती है कमी
फ्रोजन फूड खाने से रात की नींद में भी बाधा आ सकती है। इसका कारण है कि फ्रोजन फूड खाने से शरीर ग्लूकोज को शुगर में बदल देता है और अधिक शुगर ब्लड शुगर के स्तर में उतार-चढ़ाव का कारण बन सकती है, जिससे बेचैनी और सोने में कठिनाई होती है। इसलिए बेहतर नींद के लिए फ्रोजन फूड का सेवन न करें। यहां जानिए रोजाना बेहतर नींद लेने के लिए करें ये काम।