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क्या है खबर?
दिग्गज सूचना कंपनी थॉमसन रॉयटर्स ने अमेरिका में पहला बड़ा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) कॉपीराइट केस जीत लिया है। कंपनी ने 2020 में कानूनी AI स्टार्टअप रॉस इंटेलिजेंस पर मुकदमा किया था, यह दावा करते हुए कि उसने उनकी कानूनी शोध सेवा वेस्टलॉ के कंटेंट को कॉपी किया। अब, अमेरिकी जिला न्यायालय के न्यायाधीश स्टेफनोस बिबास ने थॉमसन रॉयटर्स के पक्ष में फैसला सुनाया, जिसमें कहा गया कि रॉस इंटेलिजेंस ने कॉपीराइट का उल्लंघन किया है।
फैसला
उचित उपयोग का फैसला
न्यायाधीश बिबास ने उचित उपयोग के सिद्धांत पर भी फैसला दिया, जो यह निर्धारित करता है कि कब कॉपीराइट कंटेंट को बिना अनुमति के इस्तेमाल किया जा सकता है। इस मामले में अदालत ने फोर-फैक्टर टेस्ट का उपयोग किया और पाया कि रॉस ने थॉमसन रॉयटर्स की सेवा का बाजार विकल्प बनाने का प्रयास किया। इस आधार पर न्यायाधीश ने उचित उपयोग के दावे को खारिज कर दिया। यह फैसला AI कंपनियों के लिए महत्वपूर्ण है।
मामला
AI कंपनियों के लिए क्या मायने रखता है?
इस फैसले का AI उद्योग पर गहरा असर हो सकता है। कॉर्नेल विश्वविद्यालय के प्रोफेसर जेम्स ग्रिमेलमैन ने कहा कि अगर अन्य अदालतें भी इसी तरह के फैसले देती हैं, तो यह AI कंपनियों के लिए चुनौती बन सकता है। बौद्धिक संपदा विशेषज्ञ क्रिस मैमन ने भी कहा कि इस फैसले से यह स्पष्ट होता है कि AI मॉडल को उचित उपयोग का सहारा नहीं मिल सकता। भविष्य में AI कंपनियों को कॉपीराइट कानूनों को लेकर और सतर्क रहना पड़ेगा।