Page Loader
नासा के हबल टेलीस्कोप ने गर्म तारे फू ओरियोनिस के रहस्याओं का किया खुलासा
नासा ने फू ओरियोनिस तारे के रहस्याओं का किया खुलासा (तस्वीर: नासा)

नासा के हबल टेलीस्कोप ने गर्म तारे फू ओरियोनिस के रहस्याओं का किया खुलासा

Nov 22, 2024
03:46 pm

क्या है खबर?

अंतरिक्ष एजेंसी नासा के हबल स्पेस टेलीस्कोप ने फू ओरियोनिस नामक तारे का नया अवलोकन किया है। यह तारा 1936 में अचानक अपनी चमक में 100 गुना वृद्धि करने के बाद प्रसिद्ध हुआ था। हालांकि, इसके बाद इसकी चमक धीरे-धीरे कम हो गई, लेकिन यह तारा अब भी खगोलविदों के अध्ययन का विषय बना हुआ है। हबल ने इस तारे की गर्म सतह और इसके आसपास की गैस और धूल की डिस्क के बीच की गतिविधि का अध्ययन किया है।

तापमान

सूर्य की सतह से अधिक गर्म है इसका डिस्क

हबल के नए डाटा ने फू ओरियोनिस की आंतरिक डिस्क के तापमान को लेकर चौंकाने वाले परिणाम दिए हैं। इसके डिस्क के अंदर का तापमान 16,000 केल्विन के आसपास पाया गया, जो सूर्य की गर्म सतह से भी 3 गुना अधिक गर्म है। इस नई खोज से खगोलविदों को तारों के निर्माण और उनकी अभिवृद्धि प्रक्रियाओं को समझने में महत्वपूर्ण मदद मिल सकती है। अभिवृद्धि प्रक्रियाएं वह प्रक्रिया हैं, जिसमें तारे या पिंड अपनी सामग्री खींचकर बढ़ते हैं।

अनुमान

अनुमान से अधिक है तापमान

फू ओरियोनिस के आंतरिक डिस्क का तापमान अनुमान से कहीं अधिक गर्म है। पहले माना जाता था कि डिस्क का तापमान आसपास के क्षेत्र से कम होगा, लेकिन हबल के डाटा से यह स्पष्ट हुआ कि डिस्क का तापमान सूर्य की सतह से भी अधिक लगभग 16,000 केल्विन है। कुछ वैज्ञानिक मानते हैं कि यह झटका प्रभाव हो सकता है, जब तारे के पास गिरने वाली सामग्री धीमी हो जाती है और इससे अधिक पराबैंगनी विकिरण उत्पन्न होता है।

शोध

शोध से यह चला पता 

शोध से पता चला है कि फू ओरियोनिस के पास स्थित ग्रहों के निर्माण के लिए स्थितियां अनुकूल नहीं हो सकतीं। इसके पास स्थित ग्रह गर्मी के कारण या तो वाष्पीकृत हो सकते हैं या तारे से जुड़ सकते हैं। हालांकि, इसका मतलब यह नहीं कि ग्रह नहीं बन सकते, लेकिन यह पृथ्वी जैसे ग्रहों की संरचना पर असर डाल सकता है। यह शोध ग्रहों के निर्माण के सिद्धांतों को नए दृष्टिकोण से देखने की आवश्यकता को उजागर करता है।