माइक्रोसॉफ्ट विंडोज यूजर्स पर खतरनाक मालवेयर का अटैक, यह है बचने का तरीका
माइक्रोसॉफ्ट विंडोज और लाइनक्स यूजर्स के लिए नया खतरा लेमनडक मालवेयर के तौर पर सामने आया है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, पिछले कुछ साल में यह मालवेयर तेजी से बदला है और डिवाइसेज को इनफेक्ट कर रहा है। मालवेयर के चलते डिवाइसेज के काम करने का तरीका प्रभावित होता है। पर्सनल डाटा और पासवर्ड्स चोरी करने से लेकर डिमांडिंग रैंसम तक इसका हिस्सा बने हैं। अटैकर्स इस मालवेयर की मदद से यूजर्स को धमकाकर बदले में क्रिप्टोकरेंसी की मांग करते हैं।
कंपनी ने दी मालवेयर की जानकारी
माइक्रोसॉफ्ट ने लेमनडक मालवेयर और इसके खतरनाक डिजाइन से जुड़ी जानकारी माइक्रोसॉफ्ट सिक्योरिटी ब्लॉग पर एक पोस्ट में दी है। कंपनी की माइक्रोसॉफ्ट 365 डिफेंडर थ्रेट इंटेलिजेंस टीम ने बताया है कि लेमनडक मालवेयर विंडोज और लाइनक्स दोनों ऑपरेटिंग सिस्टम्स में आसानी से फैल सकता है। यह मालवेयर दूसरे कंप्यूटर्स को निशाना बनाने के लिए किसी भी नेटवर्क का इस्तेमाल कर सकता है। यूजर्स की जानकारी चोरी करने के अलावा यह दूसरे रैंसमवेयर भी सिस्टम में इंस्टॉल कर सकता है।
इन देशों में सामने आए अटैक के मामले
माइक्रोसॉफ्ट ने लिखा, "आज अपने ट्रेडिशनल बोट और माइनिंग के तरीकों का इस्तेमाल करते हुए लेमनडक लॉगिन डीटेल्स चोरी कर सकता है और सिक्योरिटी कंट्रोल्स को हटा देता है। ईमेल्स की मदद से फैलने के अलावा यह कई हैकिंग टूल्स सिस्टम में इंस्टॉल कर देता है।" कंपनी की मानें तो लेमनडक अटैक के मामले अमेरिका, रूस, चीन, जर्मनी, यूनाइटेड किंगडम, भारत, कोरिया, कनाडा, फ्रांस और वियतनाम जैसे देशों में सामने आ रहे हैं।
दूसरे मालवेयर्स को भी खत्म कर सकता है लेमनडक
माइक्रोसॉफ्ट के मुताबिक, लेमनडक मालवेयर पिछले करीब दो साल से ऐक्टिव है और लगातार अपनी क्षमता बढ़ा रहा है। यह मालवेयर इतना खतरनाक है कि किसी सिस्टम में पहले से मौजूद दूसरे मालवेयर्स को भी खत्म कर सकता है। एक बार सिस्टम का ऐक्सेस मिलने के बाद यह नए इनफेक्शंस नहीं होने देता और जिस खामी के चलते इसे सिस्टम का ऐक्सेस मिला, उसे फिक्स कर देता है। इसकी मदद से हैकर्स क्रिप्टोकरेंसी माइनिंग जैसे काम कर सकते हैं।
आसान नहीं है मालवेयर्स को रोक पाना
कंपनी ने एक दूसरे मालवेयर वेरियंट की जानकारी भी दी है, जिसका नाम लेमनकैट है। इस मालवेयर से जुड़ी रिपोर्ट्स साल 2021 की शुरुआत से आ रही हैं और यह नए अटैक इंफ्रास्ट्रक्चर का इस्तेमाल कर रहा है। माइक्रोसॉफ्ट की मानें तो इसकी मदद से माइक्रोसॉफ्ट एक्सचेंज सर्वर को निशाना बनाया गया था, जिससे बैकडोर इंस्टॉलेशन, यूजर्स डाटा की चोरी और दूसरे मालवेयर्स की डिलिवरी जैसे काम किए जा सकें।
खुद को बचाने का क्या है तरीका?
मालवेयर से सुरक्षित बचे रहने के लिए जरूरी है कि आपके सिस्टम में इंस्टॉल एंटीवायरस सॉफ्टवेयर (साथ ही माइक्रोसॉफ्ट डिफेंडर) हमेशा अप-टू-डेट रहे। कंपनी ने बताया है कि यूजर्स को सिस्टम में कोई नया सॉफ्टवेयर इंस्टॉल करते वक्त सतर्क रहने की जरूरत है और आधिकारिक माइक्रोसॉफ्ट स्टोर से डाउनलोड और इंस्टॉलेशन सुरक्षित माना जाता है। इसके अलावा अनजान सेंडर्स की ओर से भेजे जाने वाले अटैचमेंट्स खोलते वक्त भी सतर्क रहना जरूरी है।