त्रिपुरा: नीरमहल की यात्रा में जरूर शामिल करें ये 5 गतिविधियां, मिलेगा यादगार अनुभव
त्रिपुरा के रुद्रसागर झील पर स्थित नीरहल हल एक बहुत सुंदर जलमहल है। यह महल महाराजा बीर बिक्रम किशोर माणिक्य द्वारा साल 1930 में बनवाया गया था। नीरमहल का निर्माण भारतीय और मुगल वास्तुकला के मिश्रण से हुआ है, जो इसे और भी आकर्षक बनाता है। यह महल झील के बीचों-बीच स्थित है, जिससे इसकी सुंदरता और बढ़ जाती है। आइए जानें कि नीरमहल के पास किन-किन गतिविधियों को आजमाया जा सकता है।
नाव की सवारी का आनंद लें
नीरमहल तक पहुंचने के लिए आपको नाव की सवारी करनी पड़ती है। यह अपने आप में एक रोमांचक अनुभव है। रुद्रसागर झील पर तैरती हुई नाव से महल तक पहुंचना बेहद खूबसूरत दृश्य है। इस दौरान आप झील के शांत पानी और आसपास की हरियाली का आनंद ले सकते हैं। नाव सवारी करते समय आप पक्षियों को भी देख सकते हैं, जो इस क्षेत्र में बड़ी संख्या में पाए जाते हैं।
महल के अंदरूनी हिस्से को देखें
नीरमहल के अंदरूनी हिस्से को देखने का मौका न चूकें। यहां आपको महाराजा बीर बिक्रम किशोर माणिक्य द्वारा उपयोग किए गए विभिन्न कक्षों और हॉल्स को देखने का अवसर मिलेगा। महल में दरबार हॉल, बॉलरूम, शयनकक्ष आदि शामिल हैं, जिनकी सजावट मुगल और राजस्थानी शैली में की गई है। यहां की दीवारों पर बनी चित्रकारी और नक्काशी भी बहुत आकर्षक हैं, जो इस महल की सुंदरता को और बढ़ाती हैं।
शाम को लाइट एंड साउंड शो देखें
नीरमहल में शाम को आयोजित होने वाला लाइट एंड साउंड शो एक यादगार अनुभव है। इस शो के माध्यम से महल के इतिहास और उसकी निर्माण प्रक्रिया को रोशनी और ध्वनि प्रभावों के साथ प्रस्तुत किया जाता है। यह शो लगभग 30 मिनट तक चलता है। इसे देखकर आपको नीरमहल की पूरी कहानी समझने में मदद मिलेगी और आप इस महल की भव्यता का अनुभव कर सकेंगे। यह शो आपकी यात्रा को और भी रोचक बना देगा।
बाग-बगीचों में टहलें
महल परिसर में कई सुंदर बाग-बगीचे भी हैं, जहां आप टहल सकते हैं या आराम कर सकते हैं। इन बाग-बगीचों में विभिन्न प्रकार के फूल-पौधे लगे हुए हैं, जो माहौल को खुशबूदार बना देते हैं।यहां बैठकर आप प्रकृति की गोद में कुछ समय बिता सकते हैं या फोटोग्राफी कर सकते हैं। इसके अलावा इन बाग-बगीचों में पक्षियों की चहचहाहट भी सुन सकते हैं, जो आपके अनुभव को और भी सुखद बना देती है।
स्थानीय बाजार से खरीदारी करें
नीरमहल यात्रा करने आएं तो स्थानीय बाजार से कुछ स्मृतिचिन्ह जरूर खरीदें। यहां आपको त्रिपुरा की हस्तशिल्प वस्तुएं मिलेंगी जैसे कि बांस और लकड़ी से बने उत्पाद, पारंपरिक कपड़े और अन्य सजावटी सामान जिन्हें घर ले जाकर अपनी यात्रा यादगार बना सकते हैं। इन वस्तुओं में त्रिपुरा की संस्कृति और कला की झलक मिलती है। इस प्रकार नीरमहल यात्रा आपके लिए एक संपूर्ण अनुभव साबित होगी, जिसमें इतिहास, संस्कृति, और प्रकृति का संगम मिलेगा।