अलाया एफ से लें 'नो हैंड हेडस्टैंड' योगासन करने की प्रेरणा, मिल सकते हैं कई फायदे
क्या है खबर?
अलाया एफ बॉलीवुड की अभिनेत्री हैं, जो मूल रूप से अमेरिका की रहने वाली हैं। उनका फिट शरीर देखकर अंदाजा लगाया जा सकता है कि वह सालों से योग करती आई हैं। हाल ही में उन्होंने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो साझा किया, जिसमें वह बिना किसी सहारे के 'नो हैंड हेडस्टैंड' यानि शीर्षासन करती नजर आईं। पेशेवरों की निगरानी में यह योगासन करने पर आपको कई लाभ मिल सकते हैं।
तरीका
जानिए इस योगासन को करने का सही तरीका
नो हैंड हेडस्टैंड एक मुश्किल योगासन है, जिसमें संतुलन और मानसिक एकाग्रता की जरूरत होती है। इसे वही लोग कर सकते हैं, जो नियमित रूप से योग करते हों। संतुलन बनाने के लिए सबसे पहले सामान्य तरीके से शीर्षासन करें। इसके बाद धीरे-धीरे अपने हाथों को सिर के पास से हटा लें और भार को थोड़ी देर सिर और गर्दन पर आने दें। अब अपने कोर और कंधों की ताकत से कुछ देर तक इसी स्थिति में बने रहें।
सावधानियां
योगासन के दौरान बरती जाने वाली सावधानियां
यह योगासन बहुत कठिन है, जिसके दौरान आपको कुछ सावधानियां बरतने की जरूरत पड़ेगी। इसे करते समय अपने सिर और गर्दन पर बहुत ज्यादा भार न डालें। इसके बजाय संतुलन बनाए रखने के लिए अपने कोर यानि पेट की ताकत का इस्तेमाल करें। आपके हाथ इतने ताकतवर होने चाहिए कि वे जरूरत पड़ने पर आपके शरीर का वजन संभाल सकें। किसी दीवार के आगे ही यह योग करें, ताकि गिरने का डर न रहे।
फायदे
इसके अभ्यास से मिलेंगे ये लाभ
नो हैंड हेडस्टैंड करने से आपको कई स्वास्थ्य लाभ मिल सकते हैं। इससे दिमाग में रक्त संचार बेहतर होता है, जिससे तनाव घटता है और एकाग्रता बढ़ती है। साथ ही इसके नियमित अभ्यास से ऊपरी शरीर की ताकत बढ़ जाती है और रीढ़ की हड्डी भी मजबूत रहती है। इसे करने से मन शांत हो जाता है और पाचन स्वास्थ्य को दुरुस्त करने में भी मदद मिलती है। अगर आपको सिरदर्द की समस्या है तो आपको इससे बहुत फायदा होगा।
प्रकार
शीर्षासन के अन्य प्रकार
नो हैंड हेडस्टैंड शीर्षासन का एक प्रकार है, जिसमें हाथों के सहारे के बिना इसे किया जाता है। इसके अलावा भी शीर्षासन के कई प्रकार होते हैं, जो अलग-अलग लाभ प्रदान करते हैं। इसमें से एक है 'एक पद शीर्षासन', जिसमें एक पैर को ऊपर उठाना होता है और दूसरे को मोड़ना होता है। इसके अलावा कमल शीर्षासन भी बहुत प्रसिद्ध है, जिसमें दोनों पैरों को मोड़कर कमल जैसा आकार बनाया जाता है।