सुप्रीम कोर्ट में सरकार ने कहा- रक्षा मंत्रालय से चोरी हुए राफेल सौदे से जुड़े कागजात
क्या है खबर?
राफेल विमान सौदे पर सुप्रीम कोर्ट में हो रही सुनवाई के दौरान सरकार ने कहा कि सौदे से जुड़े कुछ कागजात रक्षा मंत्रालय से चोरी हो गए और इसलिए उन्हें कोर्ट के सामने पेश नहीं किया जा सकता।
इन्हीं कागजातों के आधार पर राफेल सौदे में प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) द्वारा समानांतर बातचीत चलाने पर रक्षा मंत्रालय की आपत्ति की बात सामने आई थी।
अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल राय ने कोर्ट को बताया कि मामले में जांच चल रही है।
जानकारी
सरकार ने की पुनर्विचार याचिका खारिज करने की मांग
सरकार ने दस्तावेज चोरी होने के मामले को शासकीय गुप्त बात अधिनियम के तहत अपराध बताया। सरकार ने कोर्ट से इस आधार पर पुनर्विचार याचिकाओं को खारिज करने की मांग की। कोर्ट राफेल पर उसके फैसले पर दायर पुनर्विचार याचिकाओं पर सुनवाई कर रही है।
ट्विटर पोस्ट
राफेल सौदे से जुड़े कागजात चोरी
#Rafale documents were stolen from the Defence Ministry: Attorney General tells #SupremeCourt. AG says investigation is underway these stolen documents can't be relied upon by the court.
— Utkarsh Anand (@utkarsh_aanand) March 6, 2019
"It is an offence under the Official Secrets Act," says KK Venugopal.
राफेल सौदा
कई याचिकाओं पर सुनवाई कर रही है सुप्रीम कोर्ट
सुप्रीम कोर्ट ने 14 दिसंबर को अपने फैसले में कहा था कि सौदे में जांच की कोई जरूरत नहीं है।
फैसले पर पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा, अरुण शौरी और वकील प्रशांत भूषण ने पुनर्विचार याचिका दायर की है।
कोर्ट के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने के कारण AAP सांसद संजय सिंह की याचिका पर कोर्ट ने सुनवाई करने से मना कर दिया।
सरकार ने पिछले फैसले में हुई कुछ 'व्याकरण की गलतियों' के सुधार के लिए याचिका दायर की है।
प्रशांत भूषण
'द हिंदू' की रिपोर्ट सौंपने की प्रशांत भूषण की दलील खारिज
सुनवाई के दौरान प्रशांत भूषण ने कहा कि मामले में कई बेहद महत्वपूर्ण तथ्यों को दबाया गया।
उन्होंने 'द हिंदू' के एन राम द्वारा उनको दिए गए कुछ सबूतों को कोर्ट में पेश करने की मांग की।
इस पर मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई ने कहा कि वह अपने केस को पहले से ही दायर दस्तावेजों पर ही आधारित रखें।
कोर्ट ने कहा कि इस स्तर पर वह किसी भी नए दस्तावेज पर विचार नहीं करेंगे।
सरकार का पक्ष
अटॉर्नी जनरल ने कहा, देश की सुरक्षा से जुड़ा है मुद्दा
अटॉर्नी जनरल ने सुनवाई के दौरान कहा, "हम देश की सुरक्षा से जुड़े रक्षा सौदे के बारे में बात कर रहे हैं और यह एक बेहद संवदेनशील मामला है।"
उन्होंने कहा, "जिन्होंने भी राफेल सौदे से जुड़े दस्तावेज सार्वजनिक किए, वह शासकीय गुप्त बात अधिनियम और कोर्ट की अवमानना के दोषी हैं।"
कोर्ट ने सरकार से पूछा है कि कागजातों की चोरी के मामले में उसने अभी तक क्या कदम उठाए हैं।
पुनर्विचार याचिका
'चोरी के कागजातों पर आधारित हैं पुनर्विचार याचिकाएं'
अटॉर्नी जनरल ने इस दौरान राफेल पर 'द हिंदू' की रिपोर्ट को भी कोर्ट की अवमानना बताया।
उन्होंने कहा, "राफेल पर 'द हिंदू' की रिपोर्ट के जरिए मामले की सुनवाई को प्रभावित करने की कोशिश की गई और यह कोर्ट की अवमानना है।"
उन्होंने सारी पुनर्विचार याचिकाओं को खारिज करने की मांग की क्योंकि वह चोरी किए गए दस्तावेजों पर आधारित हैं।
सुप्रीम कोर्ट अभी दोनों पक्षों की दलील सुन रहा है और जल्द अपना अंतिम फैसला सुना सकता है।