मशहूर वैज्ञानिक इयान विल्मट का निधन, क्लोनिंग से बनाई थी पहली भेड़
दुनिया की पहली क्लोन स्तनपायी भेड़ (डॉली) बनाने वालों में से एक मशहूर वैज्ञानिक इयान विल्मट का 79 वर्ष की आयु में निधन हो गया है। उनका जन्म इंग्लैंड के स्ट्रैटफोर्ड-अपॉन-एवन के पास हुआ था। उन्होंने भ्रूण विज्ञान के क्षेत्र में जाने से पहले कृषि का अध्ययन करने के लिए नॉटिंघम विश्वविद्यालय में दाखिला लिया था। पढ़ाई पूरी करने और भ्रूण शोध के बाद वह 2005 में एडिनबर्ग विश्वविद्यालय में शामिल हुए और 2012 में सेवानिवृत्त हो गए।
इयान विल्मट ने कैसे हासिल की यह वैज्ञानिक उपलब्धि?
डॉली सोमैटिक सेल न्यूक्लियर ट्रांसफर (SCNT) नामक प्रक्रिया का उपयोग करके वयस्क कोशिका से क्लोन करके बनाई जाने वाली पहली स्तनपायी थी। पूरी प्रक्रिया में एक भेड़ का अंडा लेना, उसका DNA निकालना और उसकी जगह वर्षों पहले मर चुकी भेड़ के जमे हुए थन की कोशिका से DNA लगाना शामिल था। अंडे को भ्रूण की तरह विकसित करने के लिए बिजली से दबाया गया और भ्रूण में व्यस्क DNA को दोबारा जीवित करने के लिए रसायन मिलाया गया था।
विल्मट के काम ने स्टेम सेल रिसर्च की रखी नींव
रोजलिन इंस्टीट्यूट में विल्मट के काम ने स्टेम सेल रिसर्च की नींव रखी थी। इसका लक्ष्य शरीर को क्षतिग्रस्त ऊतकों को दोबारा जीवित करने में सक्षम बनाकर कई बीमारियों का इलाज करना है। इससे अधिक लोग लंबे समय तक स्वस्थ जीवन जीने में सक्षम होंगे। बता दें, 1996 में डॉली की रचना 20वीं सदी की सबसे बड़ी वैज्ञानिक उपलब्धियों में से एक थी, लेकिन मुख्यधारा के वैज्ञानिकों ने इसे खतरनाक करार दिया था।