क्या है एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग? जानें कैसे बनाएं इस क्षेत्र में करियर
अगर आपको खेती-किसानी के क्षेत्र में काम करना पसंद है तो आप एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में अपना करियर बना सकते हैं। जैसे-जैसे तकनीक बढ़ रही है, वैसे-वैसे सभी क्षेत्र में इसका उपयोग बढ़ रहा है। कृषि क्षेत्र में भी अब नई-नई तकनीकों के माध्यम से खेती होने लगी है और इससे जुड़े लोग पहले के मुकाबले अधिक फायदा उठा रहे हैं। आइये जानते हैं कि एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग के क्षेत्र में आप कैसे करियर बना सकते हैं।
एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग क्या है?
अगर आप विज्ञान के साथ कक्षा 12 पास हैं तो आप एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग करके इस क्षेत्र में करियर बना सकते हैं। एग्रीकल्चरल इंजीनियर तकनीक के माध्यम से नए उपकरणों और मशीनों को डिजाइन करने और खेती के मौजूदा तरीकों में सुधार करने की कोशिश करते हैं। इसके अलावा आप किसानों और व्यापारियों को भूमि उपयोग पर सलाह देने और फसलों और आसपास के पर्यावरण पर मौजूदा प्रक्रियाओं के प्रभाव का आंकलन करने का काम भी कर सकते हैं।
एग्रीकल्चरल इंजीनियर बनने के लिए इन प्रवेश परीक्षाओं के लिए कर सकते हैं आवेदन
एग्रीकल्चर इंजीनियरिंग करने के इच्छुक उम्मीदवार नीचे बताई गईं इन विभिन्न प्रवेश परीक्षाओं के माध्यम से इस कोर्स में एडमिशन ले सकते हैं: भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान-संयुक्त प्रवेश परीक्षा (IIT-JEE) इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी- बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (BHU) प्रवेश परीक्षा नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ टेक्नोलॉजी (NIT), कंबाइंड प्री-एंट्रेंस टेस्ट गुजरात कॉमन एंट्रेंस टेस्ट (GUJCET) केरल इंजीनियरिंग एग्रीकल्चर मेडिकल (KEAM) महाराष्ट्र कॉमन एंट्रेंस टेस्ट (MHCET) ग्रेजुएट एप्टीट्यूड टेस्ट इन इंजीनियरिंग (GATE) नॉर्थ ईस्टर्न रीजनल इंस्टिट्यूट ऑफ़ साइंस एंड टेक्नोलॉजी एंट्रेंस एग्जाम (NEE)
एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग करने के बाद किन क्षेत्रों में कर सकते हैं नौकरी?
खाद्य और पेय पर्यवेक्षक के तौर पर आप साक्षात्कार, भर्ती, प्रशिक्षण, शेड्यूलिंग और कर्मचारियों के प्रबंधन के साथ-साथ भोजन और पेय, आपूर्ति और अन्य रेस्तरां उपकरणों की निगरानी का काम कर सकते हैं। एग्रोनॉमिस्ट का काम भोजन, ईंधन, खाद्य और फाइबर से संबंधित पौधों के उपयोग के विज्ञान पर कार्य करना है। ये फसल रोटेशन, सिंचाई और जल निकासी, प्लांट ब्रीडिंग, मिट्टी विज्ञान, खरपतवार नियंत्रण और रोग और कीट नियंत्रण जैसे क्षेत्रों में विशेषज्ञता रखते हैं।
एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग कराने वाले प्रमुख संस्थानों के नाम क्या हैं?
तमिलनाडु वेटेरिनरी एंड एनिमल साइंस यूनिवर्सिटी, चेन्नई चौधरी चरण सिंह एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी, हिसार, हरियाणा चंद्रशेखर आजाद एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी, कानपुर तमिलनाडु एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी, तमिलनाडु सेंट्रल एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी, मणिपुर सरदार वल्लभ भाई पटेल यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चर एंड टेक्नोलॉजी, उत्तर प्रदेश आचार्य एनजी रंगा एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी केरल एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी जीबी पंत यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चर एंड टेक्नोलॉजी गुजरात एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी, गुजरात इंडियन एग्रीकल्चरल रिसर्च इंस्टिट्यूट, नई दिल्ली इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय, छत्तीसगढ़ असम एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी
एग्रीकल्चरल इंजीनियरिंग करने के बाद नौकरी कहां मिलेगी?
डेयरी कंपनियां (जैसे मदर डेयरी, अमूल) इंपीरियल टोबैको कंपनी आफ इंडिया लिमिटेड (ITC) राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (NABARD) भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (ICAR) भारतीय खाद्य निगम (FCI) वैज्ञानिक और औद्योगिक अनुसंधान परिषद (CSIR) राष्ट्रीय बीज निगम (NSC) राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड (NDDB) इंडियन फार्मर्स फर्टिलाइजर कोआपरेटिव लिमिटेड (IFFCO) नेस्ले इंडिया लिमिटेड एस्कॉर्ट्स सृजन श्रीराम फर्टिलाइजर्स एंड केमिकल्स इसके अलावा छात्र राज्य सरकार, खाद्य और प्रसंस्करण विभाग और अनुसंधान विभाग में भी नौकरी कर सकते हैं।