
कनाडा में हो रहे G-7 शिखर सम्मेलन में कौन-कौन शामिल हो रहा है, क्या है एजेंडा?
क्या है खबर?
कनाडा के अल्बर्टा प्रांत के कानानास्किस शहर में 15 से 17 जून तक G-7 समूह का शिखर सम्मेलन होगा। समूह का ये 51वां शिखर सम्मेलन है, जिसमें भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत दुनिया के कई शीर्ष नेता भाग लेंगे।
रूस-यूक्रेन युद्ध और हाल ही में इजरायल-ईरान के बीच शुरू हुए तनाव के साए में हो रहे इस सम्मेलन को बेहद अहम माना जा रहा है।
आइए जानते हैं सम्मेलन का एजेंडा क्या है।
सदस्य
सम्मेलन में कौन-कौन शामिल हो रहा है?
G7 में कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, ब्रिटेन और अमेरिका शामिल है। इन सभी देशों के नेता सम्मेलन में हिस्सा लेंगे।
इसके अलावा समूह की अध्यक्षता कर रहे कनाडा ने कई गैर-सदस्य देशों को भी आमंत्रित किया है। इनमें भारतीय प्रधानमंत्री मोदी, मैक्सिको के राष्ट्रपति क्लाउडिया शिनबाम, यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडिमीर जेलेंस्की शामिल हैं।
इसके अलावा यूरोपीय संघ, ऑस्ट्रेलिया, ब्राजील, इंडोनेशिया, दक्षिण अफ्रीका और दक्षिण कोरिया के नेताओं के भी इसमें भाग लेने की उम्मीद है।
एजेंडा
क्या है सम्मेलन का एजेंडा?
G7 शिखर सम्मेलन 2025 की वेबसाइट पर इस साल के एजेंडे में 3 मुख्य बातें कहीं गई हैं- दुनिया भर में हमारे समुदायों की सुरक्षा करना, ऊर्जा सुरक्षा का निर्माण करना और डिजिटल परिवर्तन में तेजी लाना और भविष्य की साझेदारियों को सुरक्षित करना।
हालांकि, इसके अलावा अन्य मुद्दों में वैश्विक व्यापार, रूस-यूक्रेन युद्ध, ईरान-इजरायल युद्ध, अमेरिका के टैरिफ, गाजा विवाद और चीन पर भी चर्चा होने की संभावना है।
मुद्दे
और किन-किन मुद्दों पर हो सकती है चर्चा?
उम्मीद है कि अमेरिकी टैरिफ पर अनौपचारिक चर्चा हो सकती है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने G-7 देशों समेत अधिकांश देशों पर टैरिफ लगाए हैं।
अल जजीरा के मुताबिक, कनाडा के प्रधानमंत्री मार्क कार्नी गैर-विवादास्पद विषयों पर चर्चा करना चाह रहे हैं। इनमें महत्वपूर्ण खनिजों के लिए अधिक अनुकूल वैश्विक आपूर्ति श्रृंखलाओं का निर्माण करना और चीन भी चर्चा हो सकती है।
रूस पर प्रतिबंध और युद्ध विराम को लेकर भी बातचीत की उम्मीद है।
ईरान युद्ध
चर्चा का केंद्र हो सकता है ईरान-इजरायल मुद्दा
टोरंटो विश्वविद्यालय के ट्रिनिटी कॉलेज में G7 अनुसंधान समूह के रणनीतिक पहल की निदेशक जूलिया कुलिक ने अल जजीरा से कहा, "वैश्विक शांति पर जो बातचीत रूस-यूक्रेन और गाजा पर केंद्रित थी, अब संभवतः ईरान पर केंद्रित हो जाएगी। अन्य नेताओं की ओर से ट्रंप से कठिन सवाल पूछे जाएंगे कि वार्ता में क्या गलत हुआ और हालात और खराब होने से पहले इजरायल को तनाव कम करने के लिए वह क्या करने जा रहे हैं।"
प्लस
क्या है G-7 समूह?
G-7 यानी ग्रुप ऑफ सेवन। ये दुनिया के 7 सबसे विकसित और अमीर देशों का समूह है। वर्तमान में इसमें कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, ब्रिटेन और अमेरिका शामिल हैं।
G-7 बनने की शुरुआत 1973 में हुई थी। शुरुआत में समूह में 6 देश थे। 1976 में इसमें कनाडा शामिल हुआ और समूह G-7 बन गया।
इसके बाद इसमें रूस शामिल हुआ और समूह G-8 बन गया, लेकिन रूस 2014 में इससे अलग हो गया। भारत इसका हिस्सा नहीं है।