कड़े प्रतिरोध के चलते तेजी से कीव की तरफ नहीं बढ़ पा रही रूसी सेना- ब्रिटेन
यूक्रेन युद्ध का आज आठवां दिन है, लेकिन रूस की सेना अपेक्षित बढ़त नहीं बना पाई है। ब्रिटेन के रक्षा मंत्रालय ने कहा है कि यूक्रेन की राजधानी कीव की तरफ बढ़ रही रूसी सेना को कड़े प्रतिरोध का सामना करना पड़ रहा है और उसका काफिले बीते 72 घंटों में कुछ ही दूर आगे बढ़ पाया है। ब्रिटेन ने यह भी दावा किया है कि खारकिव, चेर्नेहिव और मारियापोल जैसे शहर अभी तक यूक्रेन के नियंत्रण में हैं।
कीव से 30 किलोमीटर दूर है रूस का मुख्य काफिला
ब्रिटेन के खुफिया एजेंसी के अनुसार, रूसी सेना का मुख्य काफिला कीव से लगभग 30 किलोमीटर की दूरी पर है। उसे यूक्रेन की तरफ से प्रतिरोध, भीड़भाड़ और मशीनी खराबियों का सामना करना पड़ रहा है। इसके चलते वह आगे नहीं बढ़ पा रहा है।
कीव और खारकीव पर बढ़े हमले
भले ही रूसी सेना कीव नहीं पहुंच पाई है, लेकिन उसने राजधानी के करीब स्थित बालकलिया शहर को अपने नियंत्रण में कर लिया है। इसके अलावा रूस ने यूक्रेन के दूसरे सबसे बड़े शहर खारकिव पर भी हमले तेज किए हैं। बीते दिन शहर में रूसी पैराट्रूपर्स उतरे थे और यहां हवाई हमले भी बढ़े हैं। जानकारी मिल रही है कि खारकीव के अस्पतालों और रिहायशी इलाकों पर भी हमला किया जा रहा है।
यूक्रेन ने की खेरसन पर कब्जे पर पुष्टि
रूस ने बुधवार को यूक्रेन के दक्षिणी शहर खेरसन पर हमला करते हुए उसके स्थानीय केंद्र को पूर्ण नियंत्रण में लेने का दावा किया था। इसके बाद गुरुवार को यूक्रेन के अधिकारियों ने भी शहर पर रूस के कब्जे की पुष्टि कर दी है। खेरसन के मेयर इगोर कोल्यखेव ने रूसी सैनिक से नागरिकों पर गोली न चलाने और शवों को एकत्र करने की अनुमति मांगी है। इसी के साथ रूस के कब्जे में पहला बड़ा शहर आ गया है।
UNGA में रूस के खिलाफ प्रस्ताव पारित
बुधवार को 193 सदस्यों वाली संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) में रूस के हमले की निंदा करने वाला प्रस्ताव पेश किया गया था। अमेरिका, इंग्लैंड समेत 141 देशों ने इसके पक्ष में मतदान किया, जबकि सीरिया, बेलारूस, एरिट्रिया, रूस और उत्तर कोरिया समेत पांच देश इसके खिलाफ रहे। भारत, चीन और पाकिस्तान समेत 35 देशों ने खुद को इस मतदान से दूर रखा। भारत ने पहले भी रूस के खिलाफ लाए गए प्रस्तावों पर खुद को वोटिंग से दूर रखा था।
रूस पर बढ़ते जा रहे हैं प्रतिबंध
रूस पर अंतरराष्ट्रीय प्रतिबंधों की मार बढ़ती जा रही है। विश्व बैंक ने रूस और युद्ध में उसका साथ देने वाले बेलारूस में अपने सभी प्रोजेक्ट्स बंद करने का ऐलान किया है। अमेरिका और इंग्लैंड भी रूस पर प्रतिबंध बढ़ाने का विचार कर रहे हैं। यूरोपीय संघ ने सात रूसी बैंकों को SWIFT सिस्टम से हटा दिया है। नेटफ्लिक्स ने भी रूस में अपने प्रोजेक्ट रोक दिए हैं, वहीं स्पॉटिफाई ने रूस स्थित ऑफिस बंद करने का ऐलान किया है।