प्रधानमंत्री को विपक्ष के पत्र पर भाजपा आक्रामक, 9 राज्यों में प्रेस वार्ता कर देगी जवाब
क्या है खबर?
जांच एजेंसियों के दुरुपयोग वाले विपक्ष के पत्र का जवाब देने के लिए भाजपा कई राज्यों में प्रेस वार्ता करने जा रही है। जिन विपक्षी नेताओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा था, ये प्रेस वार्ता उनके गृह राज्यों में आयोजित की जाएंगी।
इनमें विपक्षी नेताओं द्वारा लगाए गए आरोपों का जवाब दिया जाएगा।
बता दें कि 5 मार्च को 8 विपक्षी पार्टियों के 9 नेताओं ने प्रधानमंत्री को पत्र लिख जांच एजेंसियों के दुरुपयोग के आरोप लगाए थे।
कहां
कहां-कहां प्रेस वार्ता करेगी भाजपा?
दिल्ली में भाजपा नेता मनोज तिवारी, पश्चिम बंगाल में विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी, बिहार में भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष संजय जायसवाल और उत्तर प्रदेश में उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक प्रेस वार्ता को संबोधित करेंगे।
इसके अलावा केरल, जम्मू-कश्मीर, पंजाब, तेलंगाना और महाराष्ट्र में भी पार्टी प्रेस वार्ता करेगी। रिपोर्ट्स के मुताबिक, इन प्रेस वार्ताओं में पार्टी पत्र लिखने वाले नेताओं को भ्रष्ट बताने की कोशिश करेगी, जो जांच से डरते हैं।
जानकारी
महाराष्ट्र में शुक्रवार को होगी प्रेस वार्ता
महाराष्ट्र में बजट के कारण प्रेस वार्ता गुरुवार की जगह शुक्रवार को आयोजित की जाएगी। पार्टी की प्रदेश इकाई के वरिष्ठ नेता मीडिया को संबोधित करेंगे। महाराष्ट्र उन राज्यों में शामिल है, जहां विपक्ष मजबूत है।
पत्र
किन नेताओं ने लिखा था पत्र?
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान, तेलंगाना के मुख्यमंत्री के चंद्रशेखर राव, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, बिहार के उपमुख्यमंत्री और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) नेता तेजस्वी यादव, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) प्रमुख शरद पवार, समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव, नेशनल कॉन्फ्रेंस अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला और महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखा था।
आरोप
पत्र में लगाए थे ये आरोप
विपक्षी नेताओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिख केंद्रीय जांच एजेंसियों के दुरुपयोग का आरोप लगाया था। पत्र में कहा गया था कि जांच एजेंसियों का उपयोग विपक्षी पार्टियों को दबाने के लिए किया जा रहा है।
विपक्ष ने ये भी आरोप लगाया था कि जिन राज्यों में चुनाव होने वाला होता है, वहां पहले ही केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) और प्रवर्तन निदेशालय (ED) जैसी संस्थाएं विपक्षी पार्टियों के नेताओं और उनके सहयोगियों पर कार्रवाई शुरू कर देती हैं।
सिसोदिया
पत्र में सिसोदिया की गिरफ्तारी को बताया था साजिश
प्रधानमंत्री को लिखे खत में विपक्षी नेताओं ने AAP नेता मनीष सिसोदिया की गिरफ्तारी को राजनीतिक साजिश का हिस्सा बताया था। उन्होंने कहा था कि सिसोदिया की गिरफ्तारी निराधार है।
विपक्षी नेताओं ने हेमंत बिस्वा सरमा और सुवेंदु अधिकारी का जिक्र करते हुए दावा किया था कि जांच एजेंसी भाजपा में शामिल नेताओं के खिलाफ मामलों में धीमी गति से काम करती हैं।
इस पत्र से कांग्रेस, जनता दल (यूनाइटेड) और भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) ने दूरी बना ली थी।