लखीमपुर हिंसा: आशीष मिश्रा समेत अन्य आरोपियों के खिलाफ आरोप तय, हत्या की धारा लगाई गई
क्या है खबर?
उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी की एक अदालत ने किसानों पर गाड़ी चढ़ाने के मामले में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा 'टेनी' के बेटे आशीष मिश्रा समेत 14 आरोपियों के खिलाफ मंगलवार को आरोप तय किए।
आरोपियों पर हत्या और हत्या का प्रयास समेत अन्य कई अन्य आरोप तय किए गए हैं।
इससे पहले सोमवार को अदालत ने मुख्य आरोपी आशीष की मुकदमे से नाम हटाने की याचिका को खारिज कर दिया था।
आरोप
किन-किन धाराओं में तय हुए हैं आरोप?
एक सरकारी वकील ने बताया कि मिश्रा समेत अन्य आरोपियों पर भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 147, 148, 149, 302, 307, 326, 427 और मोटर वाहन अधिनियम की धारा 177 के तहत आरोप तय किए गए हैं।
उन्होंने बताया कि कुछ आरोपियों पर शस्त्र अधिनियम के तहत भी आरोप तय किए गए हैं।
अदालत ने अभियोजन पक्ष को 16 दिसंबर को सबूत पेश करने के निर्देश दिए हैं जिसके बाद सुनवाई चालू होगी।
मामला
क्या है लखीमपुर हिंसा का मामला?
लखीमपुर में 3 अक्टूबर 2021 को केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा के दौरे के समय हिंसा हुई थी, जिसमें चार आंदोलनकारी किसानों समेत कुल आठ लोगों की मौत हुई।
मिश्रा कार्यक्रम के लिए लखीमपुर स्थित अपने पैतृक गांव पहुंचे थे। आरोप है कि लौटते वक्त मिश्रा के बेटे आशीष ने किसानों पर गाड़ी चढ़ा दी थी जिसमें चार किसानों की मौत गई थी।
बाद में गुस्साई भीड़ ने भाजपा के दो कार्यकर्ताओं और ड्राइवर को पीट-पीट कर मार डाला था।
गिरफ्तारी
सुप्रीम कोर्ट के दखल के बाद गिरफ्तार किए गए थे आशीष
सुप्रीम कोर्ट के दखल के बाद 9 अक्टूबर, 2021 को मामले में आशीष मिश्रा को गिरफ्तार किया गया था। उत्तर प्रदेश सरकार पर आशीष को बचाने का प्रयास करने के आरोप भी लगे थे और सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार द्वारा उठाए गए कदमों से असंतुष्टि जताई थी।
सुप्रीम कोर्ट ने मामले पर रिपोर्ट के लिए हरियाणा और पंजाब हाई कोर्ट के रिटायर जज राकेश कुमार जैन की अध्यक्षता में एक विशेष जांच दल (SIT) का भी गठन किया था।
आरोप
SIT ने अपनी चार्जशीट में आशीष को बनाया था मुख्य आरोपी
मामले की जांच कर रहा उत्तर प्रदेश पुलिस का विशेष जांच दल (SIT) मार्च, 2022 में लगभग 5,000 पन्नों की चार्जशीट दाखिल कर चुका है। इस चार्जशीट में आशीष मिश्रा को मुख्य आरोपी बताया गया था।
चार्जशीट के अनुसार, घटना के समय आशीष घटनास्थल पर ही मौजूद था, जबकि उसने घटनास्थल से दूर होने का दावा किया था।
इससे पहले फॉरेंसिक रिपोर्ट में इस बात की पुष्टि हुई थी कि आशीष मिश्रा की लाइसेंसी राइफल से गोली चली थी।