अजीम प्रेमजी ने दान किए 52,750 करोड़ रुपये, बने भारत के सबसे बड़े दानी
IT कंपनी विप्रो के चेयरमैन अजीम प्रेमजी ने 52,750 करोड़ रुपये की कीमत के विप्रो लिमिटेड के 34 फीसदी शेयर चैरिटी के लिए दान में दे दिये हैं। इन शेयरों के एवज में होने वाले लाभ को अजीम प्रेमजी फाउंडेशन से जुड़े कामों के लिए इस्तेमाल किया जाएगा। प्रेमजी द्वारा चैरिटी के लिए दान की गई कुल रकम 1,45,000 करोड़ रुपये (21 अरब डॉलर) हो गई है, जो विप्रो लिमिटेड के आर्थिक स्वामित्व का 67 प्रतिशत है।
अजीम प्रेमजी फाउंडेशन को किया दान
प्रेमजी ने यह दान चैरिटी फाउंडेशन 'अजीम प्रेमजी फाउंडेशन' में दिया है। यह फाउंडेशन सीधे तौर पर शिक्षा के क्षेत्र में काम करता है। साथ ही यह हाशिये पर रह रहे और संसाधनों से वंचित लोगों के लिए काम करने वाले NGO को सहायता देता है। फाउंडेशन, बेंगलुरू में अजीम प्रेमजी यूनिवर्सिटी भी चलाता है। अब इस यूनिवर्सिटी के विस्तार की बात चल रही है। फाउंडेशन उत्तर भारत में भी एक ऐसी ही यूनिवर्सिटी खोलने की योजना बना रहा है।
भारत के सबसे बड़े दानी बने प्रेमजी
इस दान के साथ ही प्रेमजी भारतीय इतिहास के सबसे बड़े दानी बन गए हैं। जानकारी के लिए बता दें कि प्रेमजी, दुनिया के सबसे अमीर लोगों में शुमार बिल गेट्स और वॉरेन बफेट द्वारा शुरू किए गए 'द गिविंग प्लेज' कार्यक्रम का हिस्सा हैं। इसके तहत अरबपति लोग अपनी संपत्ति का आधा हिस्सा चैरिटी के लिए दान करने का वादा करते हैं। प्रेमजी भारत के दूसरे सबसे अमीर व्यक्ति और दुनिया के 51वें अमीर शख्स हैं।
प्रेमजी को मिल चुका है फ्रांस का सर्वोच्च सम्मान
अजीम प्रेमजी को फ्रांस के सर्वोच्च नागरिक सम्मान 'शेवेलियर डी ला लीजन डी ऑनर' से भी सम्मानित किया गया था। उन्हें यह सम्मान IT उद्योग विकसित करने, फ्रांस में व्यापार करने और अजीम प्रेमजी फाउंडेशन और यूनिवर्सिटी के माध्यम से समाज में उनके योगदान के लिए दिया गया था। उनसे पहले बंगाली अभिनेता सौमित्र चटर्जी और बॉलीवुड सुपरस्टार शाहरुख खान को इस सम्मान से सम्मानित किया गया था।
जिन्ना की पेशकश ठुकरा कर भारत में रहे थे प्रेमजी के पिता
भारत-पाकिस्तान विभाजन के समय मोहम्मद अली जिन्ना ने अजीम प्रेमजी के पिता हाशिम प्रेमजी को पाकिस्तान का वित्त मंत्री बनाने का ऑफर दिया था, लेकिन उन्होंने यह ऑफर ठुकरा दिया। हाशिम उस समय कुकिंग ऑयल और चावल के मशहूर व्यापारी हुआ करते थे।