काबुल: लौटने से पहले अमेरिका ने बेकार किए 73 विमान और कई दूसरे सैन्य उपकरण
करीब दो दशक तक चले युद्ध के बाद अमेरिकी सैनिक सोमवार को अफगानिस्तान से वापस लौट गए हैं। लौटने से पहले उन्होंने कई हेलिकॉप्टर और दूसरे हथियारों को इस हाल में पहुंचा दिया है कि तालिबानी लड़ाके कभी उनका इस्तेमाल न कर सके। बता दें कि अमेरिकी सैनिकों की वापसी के साथ ही काबुल हवाई अड्डा भी तालिबान के कब्जे में आ गया है और उसके लड़ाके अब यहां तैनात हो गए हैं।
73 एयरक्राफ्ट किए बेकार
समाचार एजेंसी AFP की रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिकी सेना ने कई विमानों, बख्तरबंद गाड़ियों, हाई-टेक रॉकेट डिफेंस सिस्टम और दूसरे हथियारों को बेकार कर दिया है ताकि उनका दोबारा उपयोग न हो सके। अमेरिका की सेंट्रल कमांड के कमांडर केनेथ मैकेंजी ने कहा कि काबुल हवाई अड्डे पर मौजूद 73 एयरक्राफ्ट को अमेरिका सेना ने लौटने से पहले बेकार कर दिया है। उन्होंने बताया कि ये विमान अब कभी उड़ नहीं पाएंगे और कोई इनका संचालन नहीं कर सकेगा।
रॉकेट डिफेंस सिस्टम भी किया गया निष्क्रिय
अमेरिकी सैनिकों ने C-RAM डिफेंस सिस्टम को भी बेकार कर दिया है, जिससे सोमवार को काबुल हवाई अड्डे पर दागे गए रॉकेटों को नष्ट किया गया था। बताया जा रहा है कि इस सिस्टम सबसे अंत में निष्क्रिय किया गया था ताकि किसी हमले की सूरत में इसका इस्तेमाल किया जा सके। अब इस सिस्टम का दोबारा इस्तेमाल नामुमकिन है। इसके साथ अमेरिका सेना ने 27 हमवी (एक तरह की बख्तरबंद गाड़ी) को भी बेकार किया है।
हवाई अड्डे पर पहुंचे तालिबानी लड़ाके
ट्विटर पर एक वीडियो में तालिबानी लड़ाकों को काबुल हवाई अड्डे पर बने हैंगर में जाते हुए देखा जा सकता है। हैंगर में कई हेलिकॉप्टर भी नजर आ रहे हैं, जो उड़ने की हालत में नहीं दिख रहे। यह वीडियो आप नीचे देख सकते हैं।
यहां देखिये वीडियो
...लेकिन अफगान सेना के हथियारों पर तालिबान का कब्जा
भले ही अमेरिका ने जाते-जाते कुछ एयरक्राफ्ट और डिफेंस सिस्टम को निष्क्रिय कर दिया है, लेकिन वो उन लाखों आधुनिक हथियारों को तालिबान के हाथों में जाने से नहीं रोक सका, जो उसने अफगान सेना को दिए थे। अफगान सेना के मैदान छोड़कर भागने और अफगानिस्तान पर कब्जे के बाद इन सारे हथियारों, विमानों, वाहनों और उपकरणों पर तालिबान का नियंत्रण हो गया है। अब उसके लड़ाके हमवी पर सवार होकर काबुल की सड़कों पर घूम रहे हैं।
हथियारों के तालिबान के हाथ लगने के क्या नुकसान हैं?
विमानों को छोड़कर बाकी हथियार तालिबान के लिए नए नहीं होंगे। हमवी और M16, M4 राइफलों जैसे आधुनिक हथियार तालिबान के हाथ लगना विशेषज्ञ बड़ी असफलता मान रहे हैं। उनका कहना है कि इसका असर सिर्फ अफगानिस्तान में नहीं होगा। इनकी कालाबाजारी हो सकती है और दुनिया में दूसरी जगहों पर विद्रोही ताकतों को बढ़ाने के लिए भी इनका इस्तेमाल किया जा सकता है। विशेषज्ञों ने कहा कि पाकिस्तान, चीन और रूस जैसे देशों पर इसे रोकने की जिम्मेदारी है।
सोमवार को अफगानिस्तान से लौटा अमेरिका
सोमवार को काबुल हवाई अड्डे से आखिरी अमेरिकी विमान ने उड़ान भरी और इसी के साथ अमेरिका का दो दशक का सैन्य अभियान खत्म हो गया। मेजर जनरल क्रिस डोनाह्यु आखिरी अमेरिकी सैन्य अधिकारी थे, जो काबुल से विमान में सवार हुए। अमेरिका ने 31 अगस्त की समयसीमा से एक दिन पहले ही अपना सैन्य अभियान खत्म कर दिया है। दूसरी तरफ तालिबान ने कहा कि अमेरिका के लौटने के साथ ही अफगानिस्तान को 'पूर्ण आजादी' मिल गई है।