बिलकिस बानो गैंगरेप के दोषियों पर भाजपा विधायक का विवादित बयान, बोले- ब्राह्मण और संस्कारी हैं
क्या है खबर?
बिलकिस बानो का गैंगरेप करने वाले दोषियों को जेल से रिहा करने पर विवाद के बीच गुजरात के एक भाजपा विधायक ने उन पर चौंकाने वाला बयान दिया है।
विधायक सीके राउलजी ने कहा है कि दोषी ब्राह्मण हैं और उनमें अच्छे संस्कार हैं। विधायक ने दोषियों का बचाव भी किया और कहा कि हो सकता है कि उन्हें सजा दिलाने के लिए किसी ने फंसाया हो।
उनका यह बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।
बयान
विधायक ने क्या कहा?
सोशल मीडिया पर वायरल इंटरव्यू की क्लिप में गोधरा से विधायक राउलजी बिलकिस बानो के दोषियों पर कह रहे हैं, "क्राइम किया या नहीं किया, हमको पता नहीं है, लेकिन क्राइम के बारे में मैं क्या कहूं, कोई इंटेशन (इरादा) भी हो सकता है।"
दोषियों को रिहा करने पर उन्होंने कहा, "जेल में उनकी एक्टिविटी बहुत अच्छी थी। ब्राह्मण लोग थे, ब्राह्मणों के संस्कार भी बड़े अच्छे रहते हैं... किसी का उन्हें फंसाने का बुरा इरादा भी हो सकता है।"
हमला
विपक्ष ने साधा भाजपा पर निशाना
राउलजी के इस बयान को लेकर विपक्ष ने उन पर और भाजपा पर निशाना साधा है।
तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) के सोशल मीडिया संयोजक वाई सतीश रेड्डी ने कहा, 'भाजपा अब रेपिस्टों को 'अच्छे संस्कार वाले लोग' कह रहे है। कोई भी पार्टी इससे नीचा नहीं गिर सकती।'
वहीं गुजरात प्रदेश कांग्रेस सेवादल ने कहा, 'भाजपा विधायक ने कहा कि बिलकिस बानो के रेपिस्ट ब्राह्मण और संस्कारी हैं। गुजरात मॉडल में दोषी अपराधियों को छोड़ने की ये शर्तें हैं।'
जानकारी
दोषियों को रिहा करने का फैसला लेने वाले पैनल में शामिल थे राउलजी
बता दें कि राउलजी गुजरात सरकार के उस पैनल में शामिल थे जिसने सर्वसम्मित से दोषियों को रिहा करने का फैसला लिया था। एक दोषी के सुप्रीम कोर्ट पहुंचने पर कोर्ट के निर्देश पर इस पैनल का गठन किया गया था।
रिहाई
स्वतंत्रता दिवस पर रिहा किए गए थे दोषी
गुजरात सरकार ने 1992 की माफी नीति के तहत 15 अगस्त को बिलकिस बानो गैंगरेप केस के 11 दोषियों को रिहा कर दिया था।
सरकार का कहना है कि जेल में 14 साल पूरे होने और उम्र, जेल में बर्ताव और अपराध की प्रकृति जैसे कारकों के चलते दोषियों की सजा में छूट के आवेदन पर विचार किया गया था। उम्रकैद का मतलब न्यूनतम 14 साल की सजा होती है और इन दोषियों ने इतनी सजा काट ली है।
पृष्ठभूमि
क्या था बिलकिस बानो गैंगरेप केस?
गोधरा में कारसेवकों से भरी ट्रेन की बोगी में आग लगने के बाद हुए गुजरात दंगों के दौरान 3 मार्च, 2002 को दाहोद जिले के रंधिकपुर गांव में बिलकिस बानो के साथ गैंगरेप किया गया था।
उस वक्त बिलकिस 21 साल की थीं और पांच महीने की गर्भवती थीं। दंगाइयों ने बिलकिस के परिवार के सात सदस्यों की हत्या भी कर दी थी। इनमें बिलकिस की तीन वर्षीय बेटी भी शामिल थी।
गुजरात दंगे
न्यूजबाइट्स प्लस
देश के सबसे भीषण दंगों में शामिल गुजरात दंगों की चिंगारी गोधरा में 27 फरवरी, 2002 को साबरमती ट्रेन के डिब्बों में आग लगने से भड़की थी। इस आग में अयोध्या से कारसेवा करके लौट रहे 59 हिंदू मारे गए थे।
घटना के बाद अहमदाबाद और उसके आसपास के इलाकों में मुस्लिम विरोधी हिंसा भड़क गई थी। ये दंगे दो-तीन दिन तक चले थे और इनमें 1,000 से अधिक लोग मारे गए थे। मरने वालों में अधिकांश मुस्लिम थे।