स्वाइन फ्लू की दस्तक; जानें इसके लक्षण, बचाव के उपाय और अन्य बातें
हर कोई सेहत का चाहे कितना भी ख्याल क्यों न रख लें, पर वायरस कहीं न कहीं से शरीर में घुसने का रास्ता ढूंढ़ ही लेते हैं। अगर मामला स्वाइन फ्लू का हो तो दिक्कत और भी बड़ी होती है, क्योंकि यह वायरस बहुत जल्दी फैलता है। स्वाइन फ्लू एक तेजी से फैलने वाली संक्रामक बीमारी है, जिससे बचने के लिए आपको इसके बारे में जानकारी होना बेहद आवश्यक है। आइए जानें।
कई राज्यों में दिखा स्वाइन फ्लू
लखनऊ के एक अस्पताल में 51 वर्षीय महिला की स्वाइन फ्लू से मौत हो गई है। पंजाब और तेलंगाना में भी इस बीमारी के कई मरीज सामने आ चुके हैं। जैसे-जैसे ठंड बढ़ेगी, इस संक्रामक बीमारी का प्रकोप भी बढ़ता जाएगा।
क्या है स्वाइन फ्लू?
स्वाइन फ्लू स्ट्रेन इनफ्लुएंजा वायरस से होने वाला संक्रमण है और इस वायरस को ही H1N1 कहा जाता है। स्वाइन फ्लू का वायरस तेजी से फैलता है। अप्रैल 2009 में इसे सबसे पहले मैक्सिको में पहचाना गया था। इसके संक्रमण ने वर्ष 2009-10 में महामारी का रूप धारण कर लिया था। बाद में विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने 10 अगस्त, 2010 में इस महामारी के खत्म होने का भी ऐलान कर दिया था।
स्वाइन फ्लू के लक्षण
स्वाइन फ्लू बुखार, खांसी, गले में खराश, नाक बहना, मांसपेशियों में दर्द, सिरदर्द, ठंड और उल्टी के साथ आता है, जिसकी वजह से सांस लेने में भी परेशानी होती है। लगातार बढ़ने वाले स्वाइन फ्लू में छाती में दर्द के साथ उपरोक्त लक्षण, श्वसन दर में वृद्धि, रक्त में ऑक्सीजन की कमी, कम रक्तचाप, गंभीर निर्जलीकरण और अंतर्निहित अस्थमा होना स्वाभाविक है। साथ ही इससे मधुमेह, दिल की विफलता, एंजाइना आदि हो सकता है।
स्वाइन फ्लू से संक्रमित व्यक्ति इन चीजों का जरुर करें सेवन
तुलसी: रोजाना सुबह के समय तुलसी की पत्तियाों का सेवन करें, क्योंकि यह व्यक्ति के गले और फेफड़े को साफ रखती है और साथ ही रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाकर संक्रमण से भी बचाती है। हल्दी वाला दूध: स्वाइन फ्लू से बचने के लिए रोजाना रात को गुनगुने दूध में हल्दी डालकर पीने से भी आराम मिलता है। नीम: रोज़ाना नीम की तीन पत्तियों का सेवन करें, इससे खून भी साफ रहेगा और स्वाइन फ्लू के खतरा भी कम होगा।
स्वाइन फ्लू से बचने के लिए जरुर बरतें ये सावधानियां
1) अगर अभी आपको स्वाइन फ्लू नहीं है और आप इस भयंकर बीमारी से बचना चाहते हैं तो डॉक्टर की सलाह लेकर एक महीने में एक बार नैसोवैक-एस वैक्सीन का इस्तेमाल जरुर करें। 2) स्वाइन फ्लू से प्रभावित शहरों में हमेशा मास्क पहन कर ही रखें। 3) स्वाइन फ्लू के मरीज़ से थोड़ी दूरी बनाएं रखें। 4) स्वाइन फ्लू के लक्षण महसूस करने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। 5) अपनी इम्यूनिटी को ज्यादा से ज्यादा बढ़ाने की कोशिश करें।