वैक्सीनेशन अभियान: भारत में तीसरी खुराक की जरूरत पर क्या बोले AIIMS निदेशक?
हालिया दिनों में अमेरिका और जर्मनी समेत कुछ देश अपने नागरिकों को कोरोना वायरस वैक्सीन की तीसरी खुराक (बूस्टर शॉट) लगाने का ऐलान कर चुके हैं। ऐसे में कई लोगों के मन में सवाल उठ रहा है कि क्या भारत भी अपने नागरिकों को तीसरी खुराक देगा? इस सवाल के जवाब में दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) के निदेशक डॉ रणदीप गुलेरिया ने कहा कि फिलहाल भारत के पास तीसरी खुराक के लिए जरूरी आंकड़े नहीं हैं।
अगले साल तक सामने आ सकते हैं आंकड़े- डॉ गुलेरिया
NDTV से बात करते हुए डॉ गुलेरिया ने कहा, "हमारे पास इस संबंध में कोई आंकड़े नहीं हैं, जिससे पता चले कि तीसरी खुराक की जरूरत होगी। बुजुर्गों और ज्यादा जोखिम वाले लोगों से जुड़े आंकड़े भी हमारे पास नहीं हैं, जिससे यह पता लग सके कि उन्हें तीसरी खुराक की जरूरत पड़ेगी।" उन्होंने कहा कि इस पर शोध की जरूरत है और अगले साल की शुरुआत तक इससे जुड़े आंकड़े सामने आ सकते हैं।
दो खुराक लेने वाले लोग भी गंभीर संक्रमण से बच रहे- डॉ गुलेरिया
डॉ गुलेरिया ने कहा कि आंकड़ों से पता चलेगा कि किन लोगों को और किस तरह की खुराक की जरूरत पड़ेगी। इन आंकड़ों के आधार पर भारत नागरिकों को तीसरी खुराक देने का फैसला कर सकता है। उन्होंने कहा कि वैश्विक स्तर पर देखें तो वैक्सीन लगवा चुके लोग गंभीर रूप से संक्रमित होने से बच रहे हैं और नई लहरों के बावजूद अस्पताल में भर्ती होने वाले संक्रमितों की संख्या में बड़ा इजाफा नहीं हुआ है।
"आगे चलकर दी जा सकती है तीसरी खुराक"
AIIMS निदेशक ने कहा कि आगे चलकर भारत में भी लोगों को तीसरी खुराक देनी पड़ सकती है। उन्होंने कहा, "क्या यह खुराक मौजूदा वैक्सीनों की होगी? क्या हमें नई वैक्सीन की तरफ देखना पड़ेगा? क्या हमें वैक्सीनों को मिलाकर तीसरी खुराक लेनी होगी? इस बारे में अभी जानकारियां सामने आ रही है। कुछ महीनों में यह तस्वीर साफ हो जाएगी। अगले साल की शुरुआत तक हमारे पास इस संबंध में आंकड़े होंगे।"
NIV निदेशक भी कह चुकी तीसरी खुराक की बात
डॉ गुलेरिया से पहले इसी हफ्ते पुणे स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (NIV) की निदेशक प्रिया अब्राहम ने कहा था कि आने वाले समय में भारत में भी लोगों को वैक्सीन की तीसरी खुराक दी जाएगी। उन्होंने कहा था कि तीसरी खुराक पर विदेशों में अध्ययन चल रहे हैं और अभी तक सात वैक्सीनों का इसके लिए ट्रायल हो चुका है। WHO ने अभी तीसरी खुराक पर रोक लगा दी है, लेकिन भविष्य में इसके लिए सिफारिश जरूर की जाएगी।
WHO बोला- अभी तीसरी खुराक की जरूरत नहीं
WHO का कहना है कि मौजूदा आंकड़े बताते हैं कि लोगों को तीसरी खुराक देने की जरूरत नहीं है। अमीर देशों को तीसरी खुराक लगाने से पहले गरीब देशों और अधिक जोखिम का सामना कर रहे लोगों के वैक्सीनेशन पर ध्यान देना चाहिए। WHO ने सभी देशों से सितंबर के अंत तक कोविड वैक्सीन की तीसरी खुराक लगाना शुरू न करने की अपील की थी। बता दें कि कई गरीब देश वैक्सीनेशन में बहुत पीछे हैं।
देश में क्या है वैक्सीनेशन की स्थिति?
देश में चल रहे दुनिया के सबसे बड़े वैक्सीनेशन अभियान की बात करें तो अब तक वैक्सीन की 58,14,89,377 खुराकें लगाई जा चुकी हैं। बीते दिन 52,23,612 खुराकें लगाई गईं। वैक्सीनेशन की धीमी रफ्तार चिंता का विषय बनी हुई है।