#NewsBytesExplainer: क्या टमाटर की कीमत 300 रुपये प्रति किलोग्राम तक पहुंच जाएगी?
देश के विभिन्न राज्यों में इन दिनों टमाटर की कीमतें आसमान छू रही है। मुंबई में टमाटर की कीमत 120 से 160 रुपये प्रति किलोग्राम के बीच है, जबकि कई शहरों में टमाटर की कीमत 250 रुपये प्रति किलोग्राम तक पहुंच चुकी है। इसी बीच केंद्र सरकार द्वारा टमाटर की कीमतों में बढ़ोतरी पर अंकुश लगाने के लिए प्रयास किये जा रहे हैं। आइए जानते हैं कि सरकार क्या कर रही है और टमाटर के दामों में बढ़ोतरी क्यों हुई।
अचानक क्यों बढ़े टमाटर के दाम?
टमाटर के कीमतों में बढ़ोतरी के पीछे कई कारण हैं। कई राज्यों में बारिश के कारण टमाटर की फसल को नुकसान पहुंचा है और इससे पहले भीषण गर्मी के वजह से टमाटर के उत्पादन में गिरावट दर्ज की गई थी। उत्तर प्रदेश और हरियाणा जैसे राज्यों में टमाटर का उत्पादन कम हुआ है। इससे पड़ोसी राज्यों में पर्याप्त मात्रा में टमाटर की आपूर्ति नहीं हो पा रही है। मानसून की बारिश के कारण भी दामों में बढ़ोतरी हुई है।
केंद्र सरकार क्या कर रही है?
केंद्र सरकार पहली बार रियायती दरों पर टमाटर उपलब्ध करवा रही है। शुक्रवार से दिल्ली-NCR, लखनऊ, पटना और देश के चुनिंदा बड़े शहरों में कम रेट पर टमाटर बेचना शुरू किया है। इन प्रमुख शहरों में 90 रुपये प्रति किलोग्राम की रियायती दर पर टमाटर बेचे जा रहे हैं और एक व्यक्ति रियायती कीमत पर केवल 2 किलो ही टमाटर खरीद सकता है। इससे शहरी उपभोक्ताओं को थोड़ी राहत मिलने की उम्मीद है।
सरकार कहां-कहां टमाटर बेच रही है?
केंद्र के आदेश पर खाद्य मंत्रालय के उपभोक्ता मामलों के विभाग द्वारा आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और महाराष्ट्र की मंडियों से टमाटर मंगवाए गए हैं। अधिकारियों ने बताया कि नोएडा में रजनीगंधा चौक स्थित राष्ट्रीय उपभोक्ता सहकारी संघ (NCCF) कार्यालय, ग्रेटर नोएडा और दिल्ली में अन्य स्थानों पर मोबाइल वैन के माध्यम से टमाटर बेचे जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि NCCF सप्ताहांत के दौरान लखनऊ, कानपुर और जयपुर जैसे अन्य शहरों में भी टमाटर की बिक्री शुरू करेगी।
दिल्ली में कहां हो रही है टमाटर की बिक्री?
दिल्ली में NCCF ने 20 मोबाइल वैन और 5 सहकारी समिति के केंद्रों का उपयोग करके सभी 11 जिलों में बिक्री शुरू की है। NCCF के चेयरमैन विशाल सिंह ने कहा पहले दिन 17,000 किलो टमाटर ब्रिक्री के लिए रखे गए थे। उन्होंने कहा कि शनिवार को सभी केंद्रों और मोबाइल वैन से 20,000 किलोग्राम टमाटर बेचे जाने की उम्मीद है और और बिक्री बढ़ने पर यह मात्रा बढ़ाकर 40,000 किलोग्राम प्रतिदिन तक कर दी जाएगी।
क्यों लगातार कीमत में हो रही है बढ़ोतरी?
खाद्य मंत्रालय के अधिकारियों ने कहा कि आमतौर पर जुलाई-अगस्त और अक्टूबर-नवंबर में टमाटर का उत्पादन कम होता है, लेकिन जुलाई में मानसूनी बारिश के कारण टमाटर की फसल को नुकसान पहुंचने से कीमतों में भारी वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा कि जुलाई में पड़ोसी राज्यों में उत्पादन कम होने से दिल्ली-NCR के इलाकों में टमाटर नहीं पहुंचा है और नई फसल के बाजार में आने के बाद ही टमाटर की कीमत घटने की उम्मीद है।
क्यों और बढ़ेगी टमाटर की कीमत?
मानसून के वजह से देश के कई राज्यों में टमाटर की कीमतें 300 फीसदी से ज्यादा बढ़ गई हैं। कृषि विशेषज्ञों के अनुसार, आने वाले हफ्तों में टमाटर की कीमत और भी बढ़ने वाली है क्योंकि बारिश के कारण अभी नई फसल के लिए पौधारोपण करना असंभव है। विशेषज्ञों की कहना है कि टमाटर कीमत 300 रुपये प्रति किलोग्राम तक जा सकती है। उन्होंने कहा कि अभी कीमतों को स्थिर होने में कम से कम 2 महीने का समय लगेगा।