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व्लादिमीर पुतिन के दौरे के बीच रूस ने भारत के कुडनकुलम संयंत्र को दिया परमाणु ईंधन
रूस ने भारत को परमाणु ईंधन की आपूर्ति की है

व्लादिमीर पुतिन के दौरे के बीच रूस ने भारत के कुडनकुलम संयंत्र को दिया परमाणु ईंधन

लेखन आबिद खान
Dec 05, 2025
12:59 pm

क्या है खबर?

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन भारत दौरे पर हैं। इस बीच रूस की सरकारी परमाणु कंपनी रोसाटॉम ने तमिलनाडु के कुडनकुलम परमाणु संयंत्र के तीसरे रिएक्टर के लिए ईंधन की पहली खेप भेज दी है। रोसाटॉम ने एक बयान में कहा कि उसने नोवोसिबिर्स्क केमिकल कंसन्ट्रेट प्लांट द्वारा निर्मित ईंधन असेंबलियों को अपने परमाणु ईंधन प्रभाग द्वारा संचालित कार्गो विमान के माध्यम से भारत भेजा है। रूस से परमाणु ईंधन लेकर कुल 7 विमान भारत आने हैं।

रिपोर्ट

2024 में हुआ था समझौता

परमाणु ईंधन के लिए रूस और भारत में 2024 में समझौता हुआ था। उसी के तहत ये शिपमेंट भारत आए हैं। इसमें प्रारंभिक लोडिंग से लेकर पूरे समय के लिए कुडनकुलम संयंत्र के तीसरे और चौथे VVER-1000 रिएक्टरों के लिए ईंधन की आपूर्ति शामिल है। बता दें कि कुडनकुलम संयंत्र में 6,000 मेगावट क्षमता वाले 6 रिएक्टर होंगे। पहले 2 रिएक्टर 2013 और 2016 में भारत के पावर ग्रिड से जुड़े थे। 4 अन्य रिएक्टरों का काम चल रह है।

बयान

रोसाटॉम ने कहा- भारत और रूसी इंजीनियर उल्लेखनीय काम कर रहे 

रोसाटॉम ने कहा कि कुडनकुलम संयंत्र के प्रथम चरण में इन दोनों रिएक्टरों के संचालन के दौरान रूसी और भारतीय इंजीनियरों ने उन्नत परमाणु ईंधन और विस्तारित ईंधन चक्रों के माध्यम से उनकी दक्षता बढ़ाने के लिए उल्लेखनीय काम किया है। 2022 से कुडनकुलम संयंत्र को TVS-2M मॉडल के परमाणु ईंधन की आपूर्ति की जा रही है। रूस हाल के दशकों में भारत में परमाणु ऊर्जा संयंत्र बनाने वाला एकमात्र देश है।

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खासियत

18 महीने की फ्यूल साइकिल वाला पहला रिएक्टर

रोसाटॉम ने कहा कि कुडनकुलम संयंत्र का दूसरा चरण 18 महीने के ईंधन चक्र के साथ प्रक्षेपित होने वाला पहला VVER-1000 रिएक्टर होगा। रोसाटॉम ने बताया कि यह रोसाटॉम के परमाणु ईंधन प्रभाग और भारतीय साझेदारों के बीच सफल सहयोग का परिणाम है। रोसाटॉम परमाणु ऊर्जा संयंत्रों के परिचालन के दौरान परमाणु ईंधन की आपूर्ति करता है और इंजीनियरिंग सेवाएं प्रदान करता है और नए ईंधन और ईंधन चक्र समाधान के जरिए रिएक्टरों की दक्षता बढ़ाता है।

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प्लस

न्यूजबाइट्स प्लस

कुडनकुलम परमाणु ऊर्जा संयंत्र भारत का सबसे बड़ा परमाणु ऊर्जा स्टेशन है, जो तमिलनाडु के कुडनकुलम में स्थित है। इसका निर्माण 2002 में रूस की सहायता से शुरू हुआ था और 2027 तक इसके पूर्ण क्षमता पर संचालित होने की उम्मीद है। फिलहाल इससे पैदा हुई बिजली का 50 प्रतिशत हिस्सा तमिलनाडु को आवंटित किया जाता है। इसके अलावा कर्नाटक, केरल और पुदुचेरी को भी बिजली आपूर्ति की जाती है। करीब 15 प्रतिशत हिस्सा केंद्रीय पूल में जोड़ा जाएगा।

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