
ट्रंप के साथ बढ़ते व्यापार तनाव के बीच प्रधानमंंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे अमेरिका का दौरा
क्या है खबर?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अगले अमेरिका की यात्रा पर जा सकते हैं। उनकी न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) की बैठक में भाग लेने की संभावनाहै। इस यात्रा के बीच उनकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ बैठक की भी योजना बनाई जा रही है, ताकि व्यापार संबंधों में तनाव को कम किया जा सके। बताया जा रहा है कि मोदी ट्रंप के अलावा यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोडिमीर जेलेंस्की सहित कई अन्य विदेशी नेताओं के साथ भी उच्चस्तरीय बैठकें कर सकते हैं।
दौरा
26 सितंबर को महासभा को संबोधित कर सकते हैं मोदी
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, भारत की ओर से प्रधानमंत्री मोदी के लिए भाषण का समय सुनिश्चित करने के लिए संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय से संपर्क किया गया है, जिसने 26 सितंबर की सुबह निर्धारित किया है। ट्रंप 23 सितम्बर को संयुक्त राष्ट्र महासभा को संबोधित करेंगे। महासभा में संयुक्त राष्ट्र के स्थायी मिशनों को प्रत्येक देश के प्रतिनिधित्व के स्तर का संकेत देना होता है और इसके बाद 15 मिनट समय बोलने के लिए दिया जाता है।
बैठक
कितनी महत्वपूर्ण हैं यात्रा?
प्रधानमंत्री मोदी की अमेरिका यात्रा का मुख्य कार्यक्रम भले ही संयुक्त राष्ट्र महासभा हो, लेकिन इस बीच उनका मुख्य उद्देश्य ट्रंप से मुलाकात, व्यापार संबंधी मुद्दों को सुलझाना और टैरिफ पर आम सहमति के लिए ट्रंप को राजी करना होगा। अगर मोदी और ट्रंप के बीच मुलाकात सफल रही तो दोनों नेताओं को एक व्यापार समझौते की घोषणा करने का भी अवसर मिलेगा। इसके अलावा मोदी रूस-यूक्रेन बातचीत का भी प्रयास करेंगे, क्योंकि संघर्ष रुकने से भारत को लाभ मिलेगा।
दौरा
ट्रंप ने लगाया है भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ
भारत और अमेरिका के बीच चल रही व्यापार समझौता बातचीत के असफल होने के बाद ट्रंप ने भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाया है। ट्रंप भारत के रूस से तेल व्यापार को लेकर नाराज हैं। उन्होंने 7 अगस्त से 25 प्रतिशत और 27 अगस्त से अतिरिक्त 25 प्रतिशत का टैरिफ लगाकर एक तरह का जुर्माना ठोका है। मोदी के दौरे में व्यापार वार्ता फिर से शुरू होने की संभावना है, जिसमें नई शर्तें पेश करनी होंगी।
मुलाकात
फरवरी में अमेरिका गए थे मोदी
इससे पहले मोदी 5 महीने पहले फरवरी में वाशिंगटन डीसी की यात्रा पर पहुंचे थे, जहां उन्होंने व्हाइट हाउस में ट्रंप से मुलाकात की थी। इस दौरान दोनों पक्ष इस बात पर सहमत थे कि 2030 तक कुल द्विपक्षीय व्यापार को बढ़ाकर 500 अरब डॉलर (43.50 लाख करोड़ रुपये) करना है। तब नए और निष्पक्ष व्यापार नियमों के लिए पारस्परिक लाभकारी और बहु-क्षेत्रीय द्विपक्षीय व्यापार समझौते (BTA) पर सितंबर के पहले चरण में बातचीत की योजना की घोषणा हुई थी।