कनाडा में हिंदू मंदिर पर हमले को लेकर बोला भारत- दोषियों को सजा मिलने की उम्मीद
भारत ने सोमवार को कनाडा के ओंटारियो के ब्रैम्पटन स्थित हिंदू सभा मंदिर पर चरमपंथियों और अलगाववादियों द्वारा किए गए हमले की कड़े शब्दों में निंदा की है। इसके साथ ही जस्टिन ट्रूडो सरकार से देश में सभी पूजा स्थलों की पर्याप्त सुरक्षा सुनिश्चित करने और दोषियों को सजा दिलाने का भी आह्वान किया है। बता दें कि ब्रैम्पटन में खालिस्तानी झंडे लिए लोगों के एक समूह ने हिंदू मंदिर पर हमला कर लोगों को भावनाओं को ठेस पहुंचाई है।
भारत ने मामले पर क्या जारी किया बयान?
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, "हम कल ओंटारियो के ब्रैम्पटन में हिंदू सभा मंदिर में चरमपंथियों और अलगाववादियों द्वारा की गई हिंसा की निंदा करते हैं। हम कनाडा सरकार से यह सुनिश्चित करने का आग्रह करते हैं कि सभी पूजा स्थलों को ऐसे हमलों से सुरक्षित रखा जाए।" मंत्रालय ने कहा, "हम यह भी उम्मीद करते हैं कि हिंसा में लिप्त लोगों पर मुकदमा चलाया जाएगा। हम कनाडा में भारतीय नागरिकों की सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं।"
"राजनयिक अधिकारी धमकी, उत्पीड़न और हिंसा से नहीं डरेंगे"
जायसवाल ने आगे कहा, "भारत सरकार कनाड़ा में हिंदू मंदिरों और भारतीय लोगों की सुरक्षा को लेकर आशंकित है। ऐसे में भारतीयों और कनाडाई नागरिकों को सेवाएं प्रदान करने के लिए हमारे वाणिज्य दूतावास अधिकारी किसी भी धमकी, उत्पीड़न और हिंसा से नहीं डरेंगे।" बता दें कि इस घटना ने हिंदू सभा मंदिर और भारतीय दूतावास द्वारा संयुक्त रूप से आयोजित एक वाणिज्य दूतावास कार्यक्रम को भी बाधित कर दिया है।
खालिस्तानी समर्थकों ने बच्चों और महिलाओं पर किया हमला
बता दें, कनाडा में हिंदू मंदिर पर हुए हमले के वीडियो भी सोशल मीडिया पर सामने आए हैं, जिनमें खालिस्तानी झंडे लिए लोग दूसरे लोगों को बुरी तरह पीटते और दौड़ाते नजर आ रहे हैं। आरोप है कि खालिस्तानी समर्थकों ने बच्चों और महिलाओं पर भी हमला किया है। घटना के बाद इलाके में तनाव बढ़ गया है। पूरे क्षेत्र में सुरक्षा बल तैनात किया गया। प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने ने हिंदू सभा मंदिर में हुई हिंसा अस्वीकार्य बताया है।
भारतीय उच्चायोग ने भी की घटना की निंदा
इस घटना के बाद ओटावा स्थित भारतीय उच्चायोग ने बयान जारी कर इस घटना की निंदा की और इसे भारत विरोधी तत्वों द्वारा किया गया हमला करार दिया। उच्चायोग ने कहा, "हमने आज (3 नवंबर) टोरंटो के पास ब्रैम्पटन में हिंदू सभा मंदिर के साथ मिलकर आयोजित वाणिज्य दूतावास शिविर के बाहर भारत विरोधी तत्वों द्वारा की गई हिंसक गड़बड़ी देखी है।" बड़ी बात यह है कि पुलिस ने मामले में अभी तक कोई गिरफ्तारी नहीं की है।
भारत और कनाडा संबंधों में आई गिरावट
पिछले साल सितंबर में प्रधानमंत्री ट्रूडो द्वारा खालिस्तानी चरमपंथी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंटों की संभावित संलिप्तता के आरोपों के बाद भारत और कनाडा के बीच संबंधों में गंभीर तनाव आ गया था। भारत ट्रूडो के आरोपों को बेतुका बताकर खारिज कर दिया। इसके बाद दोनों देशों ने अपने यहां तैनात राजनयिकों को निस्कासित कर दिया। अब कनाडा ने भारत को खतरा वाले देशों की सूची में डालकर उकसावे वाली कार्रवाई की है।