डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति बनने से भारत-अमेरिका संबंधों पर क्या पड़ेगा असर?
क्या है खबर?
अमेरिका में इस साल राष्ट्रपति पद के लिए चुनाव होना है। इसमें डेमोक्रेटिक पार्टी की ओर से कमला हैरिस और रिपब्लिकन पार्टी की ओर से पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप उम्मीदवार हैं।
अलग-अलग अनुमानों में कहा जा रहा है कि चुनावों में ट्रंप को जीत मिल सकती है। अगर ऐसा है तो ट्रंप का एक बार फिर अमेरिका का राष्ट्रपति बनना तय है।
आइए जानते हैं कि अगर ट्रंप राष्ट्रपति बने तो भारत-अमेरिका संबंध कितने बदलेंगे।
विदेश नीति
कैसी हो सकती है ट्रंप की विदेश नीति?
ट्रंप NATO से बाहर निकल सकते हैं, जिसका यूक्रेन पर असर हो सकता है।
माना जाता है कि ट्रंप चीन के खिलाफ संतुलन बनाने के लिए भारत जैसे देशों की भी तलाश करेंगे।
द डिप्लोमैट के मुताबिक, ओहियो के सीनेटर नीरज अंतानी के अनुसार, "ट्रंप के कार्यकाल में अमेरिका-भारत संबंध अच्छे थे, जो कई भारतीय राजनीतिक मुद्दों पर तटस्थ रहे। इसके विपरीत, जो बाइडन ने भारत के नागरिकता संशोधन अधिनियम और अनुच्छेद 370 को निरस्त करने की आलोचना की है।"
रूस-चीन
रूस-चीन को लेकर कैसा हो सकता है ट्रंप का रुख?
ट्रंप और उनके उपराष्ट्रपति उम्मीदवार दोनों ने रूस-यूक्रेन युद्ध को खत्म करने और रूस के साथ बेहतर संबंधों पर जोर दिया है।
हाल ही में ट्रंप ने कहा था कि वे एक फोन कॉल से यूक्रेन युद्ध रुकवा सकते हैं।
चीन के बारे में वेंस ने साफ कहा है कि यह अमेरिका के लिए सबसे बड़ा खतरा है। हालांकि, ट्रंप ने चीन पर ज्यादा कुछ नहीं कहा है, लेकिन उन्होंने लगातार चीनी व्यापारिक प्रथाओं के खिलाफ आवाज उठाई है।
व्यापार
भारत-अमेरिका के व्यापार पर क्या असर पड़ेगा?
ट्रंप के पहले कार्यकाल के दौरान भारत-अमेरिका के बीच व्यापार समझौते पर बातचीत हुई थी।
हालांकि, ट्रंप ने भारत से सामान्यीकृत वरीयता प्रणाली (GSP) को रद्द कर दिया था। इसके तहत विकासशील देशों को अमेरिका को शुल्क मुक्त सामान निर्यात करने की अनुमति मिलती है।
हाल के समय में दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार में कमी आई है। 2022-23 के दौरान अमेरिका भारत का सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार था, लेकिन अब चीन है।
टैरिफ
टैरिफ को लेकर ट्रंप से राहत की उम्मीद नहीं
पहले कार्यकाल के दौरान ट्रंप ने भारत को टैरिफ किंग बताया था। उन्होंने कहा था कि भारत ने अमेरिका को अपने बाजारों में न्यायसंगत और उचित पहुंच नहीं दी है।
ट्रंप ने भारतीय इस्पात और एल्युमीनियम उत्पादों पर आयात शुल्क भी बढ़ाया था। इसके जवाब में भारत ने भी कई अमेरिकी उत्पादों पर आयात शुल्क बढ़ाया था।
ट्रंप के सख्त रुख को भारत-अमेरिका व्यापार संबंधों के लिए जोखिम के रूप में देखा जाता है।
बयान
भारत से जुड़े ट्रंप के कुछ चर्चित बयान
बतौर राष्ट्रपति कार्यकाल पूरा होने से पहले ट्रंप ने H1B वीजा की व्यवस्था में भी काफी बदलाव किए थे। इसका सबसे ज्यादा असर भारतीयों पर पड़ा था।
नवंबर 2019 में ट्रंप ने प्रदूषण को लेकर भारत को निशाने पर लिया था। उन्होंने कहा था कि भारत, चीन और रूस की गंदगी बहती हुई लॉस ऐंजिलिस तक पहुंच रही है।
इसी तरह गलवान घाटी हिंसा को लेकर ट्रंप ने मध्यस्थता की बात कही थी और चीन का साथ दिया था।