'औरों में कहां दम था' में निर्देशक ने क्यों नहीं किया डी-एजिंग तकनीक का इस्तेमाल?
आजकल फिल्मों में पर्दे पर सितारे अपनी उम्र से छोटे नजर आते हैं, जो डी-एजिंग तकनीक से मुमकिन हो पाता है। इस तकनीक के दौर में भी आगामी फिल्म 'औरों में कहां दम था' के निर्देशक नीरज पांडे ने अजय देवगन और तब्बू को उनकी उम्र के अनुरूप ही पर्दे पर उतारना सही समझा। नीरज के इस कदम की जमकर तारीफ हो रही है। इन तारीफों के बीच निर्देशक ने खुलासा किया की उन्होंने ऐसा क्यों किया।
कहानी की मांग के अनुसार नीरज ने उठाया कदम
न्यूज 18 को दिए इंटरव्यू में खुलासा किया कि उन्होंने अपनी कहानी की मांग के अनुसार ही डी-एजिंग तकनीक का इस्तेमाल ना करने का फैसला किया था। वह बोले, "दुर्भाग्य से उम्र कम करने का काम अब जरूरत से ज़्यादा हो गया है और इस तकनीक का खूब दुरुपयोग भी हो रहा है। इस खास कहानी के लिए, आप अजय और तब्बू के किरदारों को 21 साल का नहीं बना सकते। अगर हम ऐसा करते तो वह मजाक सरीखा लगता।"
नीरज के इस कदम ने दिया फिल्म को नयापन
नीरज का मानना है कि उनका इस तकनीक को ना इस्तेमाल करना 'औरों में कहां दम था' को नयापन देता है और इसे अलग बनाता है। निर्देशक बोले, "हम पहले दिन से ही इस बात को लेकर स्पष्ट थे कि दो अलग-अलग आयु वर्ग के किरदार निभाने के लिए अलग-अलग कलाकार होंगे क्योंकि यह कहानी के लिए सही है और मुझे लगता है यही इसकी खूबसूरती है। 24 के बाद लोग बदल जाते हैं। हमारी शारीरिक बनावट बदल जाती है।"
अभिनेताओं का छोटे उम्र की अभिनेत्रियों के साथ रोमांस करना कितना सही?
जब नीरज से पूछा गया कि अभिनेताओं का अपने से कम उम्र की अभिनेत्रियों के साथ पर्दे पर रोमांस करना उन्हें कैसा लगता है तो वह बोले कि जो कुछ भी हो रहा है, उसके खिलाफ वह कुछ नहीं कह सकते। उनके अनुसार, जब तक अभिनेता किरदारों के हिसाब से ढल रहे हैं तब तक यह चलता रहना चाहिए। यह ऐसा कुछ नहीं है, जो अचानक से इंडस्ट्री में आया हो। इतिहास में हमें कई बार ऐसा देखने को मिला।
5 जुलाई को सिनेमाघरों में दस्तक देगी फिल्म
नीरज निर्देशित 'औरों में कहां दम था' इस साल की बहुचर्चित फिल्मों में शुमार है। यह अजय और तब्बू की साथ में सातवीं फिल्म है। दोनों ने कई हिट फिल्मों में साथ काम किया है। यह रोमांटिक थ्रिलर फिल्म 5 जुलाई, 2024 को सिनेमाघरों में रिलीज होगी। इस फिल्म में जिमी शेरगिल, सई मांजरेकर और शांतनु माहेश्वरी भी महत्वपूर्ण भूमिका में होंगे। 'औरों में कहां दम था' 23 साल की अवधि में फैली एक संगीतमय रोमांटिक ड्रामा है।