दिल्ली सरकार को दो दिन में मिली 2,000 पुराने वाहनों की शिकायतें, जल्द होगी कार्रवाई
दिल्ली सरकार को रेजिडेंट वेलफेयर (RWA) और मार्केट एसोसिएशनों से पुराने वाहनों को उनके परिसरों में पार्क किए जाने की लगभग 2,000 शिकायतें मिली हैं। दरअसल, दिल्ली परिवहन विभाग ने पुराने वाहनों के बारे में जानकारी इकट्ठा करने के उद्देश्य से RWA और बाजार संघों के लिए एक नंबर (8376050050) जारी किया था। इस व्हाट्सऐप नंबर पर ये शिकायतें नंबर जारी करने के सिर्फ दो दिनों के भीतर आई हैं।
विभाग करेगा वाहनों की जांच
परिवहन विभाग ने अभी तक शिकायतों की जांच नहीं की है। विभाग के एक अधिकारी ने समाचार एजेंसी PTI को बताया, "नंबर जारी करने के दो दिनों के भीतर हमें दिल्ली से 2,000 शिकायतें मिलीं। हालांकि, अभी शिकायतों को सत्यापित करने की आवश्यकता है।" अधिकारी ने आगे बताया कि लोग ऐसे वाहनों की तस्वीरें भेज रहे हैं जो उन्हें पुराने लग रहे हैं। ऐसे में अब अधिकारियों को इन्हें सत्यापित करना होगा।
जांच के बाद वाहनों को जब्त कर स्क्रैपिंग के लिये भेजा जाएगा
अधिकारी के अनुसार, राष्ट्रीय राजधानी में करीब 25 लाख ऐसे वाहन हैं, जो सड़क पर चलने के लिये अधिकृत नहीं हैं। विभाग द्वारा जारी किये गए नंबर पर मिलने वाली इन शिकायतों में अनुपयुक्त पाए जाने वाले वाहनों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। इसके लिये पंजीकरण जांच के बाद टीमों को फील्ड पर भेजा जाएगा और वे वाहनों को जब्त कर लेंगे और उन्हें तुरंत स्क्रैपिंग के लिए अधिकृत स्क्रैपर को सौंप देंगे।
2018 में सुप्रीम कोर्ट ने लगाया था पुराने वाहनों पर प्रतिबंध
2018 में सुप्रीम कोर्ट ने एक आदेश के तहत दिल्ली में क्रमशः 10 साल और 15 साल से पुराने डीजल और पेट्रोल वाहनों के चलने पर प्रतिबंध लगा दिया था। इसमें कहा गया था कि आदेश का उल्लंघन करने वाले वाहनों को जब्त कर लिया जाएगा। नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल 2014 का एक आदेश 15 साल से अधिक पुराने वाहनों को सार्वजनिक स्थानों पर पार्क करने की अनुमति नहीं देता है।
पिछले हफ्ते विभाग ने दी थी चेतावनी
इस साल की शुरुआत में राजधानी में 10 साल से अधिक पुराने लगभग दो लाख वाहनों का पंजीकरण रद्द कर दिया गया था। पिछले हफ्ते परिवहन विभाग ने राष्ट्रीय राजधानी में पुराने वाहनों को चलाने के खिलाफ लोगों को आगाह करते हुए कहा था कि ऐसे वाहनों को तुरंत जब्त कर लिया जाएगा। अधिकारी ने कहा, "अब यह पता चला है कि इन आदेशों के बावजूद ऐसे वाहन अभी भी दिल्ली की सड़कों पर चलते और खड़े पाए जाते हैं।"
न्यूजबाइट्स प्लस
गौरतलब है कि एक आदेश के तहत दिल्ली के RTO को भी पुराने वाहनों के लिए NOC जारी नहीं करने का निर्देश दिया गया है, जिससे इन पुराने वाहनों का इस्तेमाल दूसरे राज्य में बेचने के लिए ना किया जा सके। 2018 में मोटर वाहन अधिनियम संशोधन पारित होने के बाद से अधिकारियों को नए चालान करने का अधिकार दिया गया। इसके अनुसार, अधिकारी 10,000 रुपये का जुर्माना जारी कर सकते हैं।