लोगों को वैक्सीन लगाने के लिए क्या-क्या नियम लागू कर रहे दुनियाभर के देश?
कोरोना के बढ़ते मामलों को रोकने के लिए दुनियाभर के देश वैक्सीनेशन पर जोर दे रहे हैं। अमेरिका ने जहां वैक्सीन न लगवाने वाले कर्मचारियों के लिए हर हफ्ते कोरोना टेस्ट कराने की नीति अपनाई है तो चीन ने कहा है कि वह वैक्सीन न लगवाने वाले लोगों को सरकारी सुविधाएं इस्तेमाल नहीं करने देगा। वहीं कई देशों में वैक्सीनेशन अनिवार्य किया गया है। आइये, जानते हैं कि अलग-अलग देशों में क्या नीति अपनाई जा रही है।
इन देशों में व्यस्कों के लिए वैक्सीनेशन अनिवार्य
ताजिकिस्तान, तुर्कमेनिस्तान और वेटिकन ऐसे देश हैं, जिन्होंने अपने व्यस्क नागरिकों के लिए कोरोना वायरस वैक्सीन लगवाना अनिवार्य किया है। कई दूसरे देशों में ऐसे नियम लागू किए गए हैं, जिनके बाद नागरिकों के लिए वैक्सीन लेना जरूरी हो जाएगा।
अमेरिकी कंपनियों के लिए नए नियम लागू
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने गुरुवार को कड़े वैक्सीनेशन नियमों का ऐलान किया है। अब 100 से अधिक कर्मचारियों वाली कंपनियों को अपने सभी कर्मियों को वैक्सीन लगवानी होगी। अगर कोई वैक्सीन नहीं लगवाता है तो हर हफ्ते उसका कोरोना टेस्ट किया जाएगा। कैलिफॉर्निया और न्यूयॉर्क सिटी समेत कई दूसरी जगहों पर सरकारी कर्मचारियों के लिए भी ऐसे नियमों की मांग की जा रही है। सैन फ्रांसिस्कों ने कुछ कर्मचारियों के लिए ऐसे नियम लागू कर दिए हैं।
चीन ने लागू किए कड़े नियम
चीन ने वैक्सीनेशन कवरेज बढ़ाने के लिए कई कड़े नियम लागू किए हैं। यहां के कई शहरों में वैक्सीन न लगवाने वाले लोगों के लिए अस्पताल, स्कूल और सार्वजनिक परिवहन में प्रवेश प्रतिबंधित हैं। कई सोसायटी ने अपने यहां रहने वाले लोगों को चेतावनी दी है कि अगर वो वैक्सीन नहीं लगवाते हैं तो उन्हें प्रवेश नहीं दिया जाएगा। कई दूसरी जगहों पर वैक्सीन न लगवाने वाले लोगों को प्रवेश न देकर उन्हें वैक्सीनेशन केंद्रों पर भेजा जा रहा है।
जिम्बावे में सरकारी अधिकारियों के लिए वैक्सीनेशन अनिवार्य
जिम्बावे में सरकारी अधिकारियों के लिए वैक्सीनेशन अनिवार्य हो गया है। इसी हफ्ते यहां की सरकार ने ऐलान किया है कि अगर अधिकारी वैक्सीन नहीं लगवाते हैं तो उन्हें नौकरी से इस्तीफा देना होगा।
कनाडा और UK में ये नियम
कनाडा ने कहा है कि संघीय सरकार के सभी कर्मचारियों के लिए सितंबर अंत तक वैक्सीन लगवाना अनिवार्य है। इसके अलावा यहां रेल और हवाई जहाज के जरिये यात्रा करने वाले लोगों के लिए भी वैक्सीन लगवाना जरूरी कर दिया गया है। यूनाइटेड किंगडम (UK) ने कहा है कि अगले महीने से देखभाल केंद्रों में तैनात या सेवा देने वाले लोगों के लिए वैक्सीनेशन अनिवार्य है। पूरी तरह वैक्सीनेट हुए बिना यहां काम की इजाजत नहीं होगी।
इटली में स्वास्थ्यकर्मियों और अध्यापकों के लिए वैक्सीनेशन अनिवार्य
सऊदी अरब ने सभी कर्मचारियों के लिए वैक्सीनेशन जरूरी कर दिया है। अब केवल वैक्सीनेटेड कर्मचारी ही कार्यस्थलों पर जा सकेंगे। फ्रांस ने भी जल्द से जल्द अपने स्वास्थ्यकर्मियों और जोखिम का सामना कर रहे लोगों के साथ काम करने वाले कर्मचारियों को वैक्सीन लगवाने को कहा है। इसी तरह इटली ने कहा है कि वैक्सीन न लगवाने स्वास्थ्यकर्मियों को मरीजों के साथ काम करने की इजाजत नहीं होगी। अध्यापकों के लिए भी यहां वैक्सीनेशन जरूरी कर दिया गया है।
पंजाब ने भी कड़े किए नियम
विदेशों की तरह भारत में भी पंजाब सरकार ने सरकारी कर्मचारियों के लिए वैक्सीनेशन जरूरी कर दिया है। मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने शुक्रवार को ऐलान किया है कि अब तक वैक्सीन की एक भी खुराक न लेने वाले सरकारी कर्मचारियों को 15 सितंबर के बाद अनिवार्य छुट्टी पर भेजा जाएगा। कम से कम एक खुराक लेने तक उन्हें छुट्टी पर रखा जाएगा। सिंह ने कहा कि महामारी से बचाने में वैक्सीन बहुत कारगर साबित हुई है।
देश और दुनिया में वैक्सीनेशन की क्या स्थिति?
भारत में वैक्सीनेशन अभियान धीरे-धीरे रफ्तार पकड़ रहा है और अब तक वैक्सीन की 73,05,89,688 खुराकें लगाई जा चुकी हैं। इनमें से 65,27,175 खुराकें बीते दिन लगाई गई थीं। ब्लूमबर्ग वैक्सीन ट्रैकर के मुताबिक, पूरी दुनिया में वैक्सीन की 5.6 अरब खुराकें दी जा चुकी हैं। इनमें से 2.1 अरब खुराकों के साथ चीन सबसे आगे है। यहां की लगभग 70 फीसदी आबादी पूरी तरह वैक्सीनेट हो चुकी है। कुल खुराकों के मामले में भारत दूसरे स्थान पर है।