पाकिस्तान: साइफर मामले में पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को 10 साल जेल की सजा
क्या है खबर?
पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) के संस्थापक और पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान और पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी को साइफर मामले में दोषी करार दिया है।
पाकिस्तान के एक स्पेशल कोर्ट ने दोनों को 10-10 साल की सजा सुनाई है।
यह फैसला पाकिस्तान में 8 फरवरी को होने वाले आम चुनावों से एक हफ्ते पहले आया है। सुप्रीम कोर्ट द्वारा चुनावी चिन्ह छीने जाने के बाद PTI के उम्मीदवार स्वतंत्र रूप से ये चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं।
सजा
गोपनीयता अधिनियम के तहत सुनाई गई सजा
रावलपिंडी की अदियाला जेल में स्पेशल कोर्ट के न्यायाधीश अबुल हसनत मुहम्मद जुल्करनैन ने आधिकारिक गोपनीयता अधिनियम के तहत इमरान खान और महमूद कुरैशी को यह सजा सुनाई।
साइफर मामले में पिछले साल अगस्त में खान और कुरैशी को गिरफ्तार किया गया था। इसके बाद अक्टूबर में हुई सुनवाई में खान और कुरैशी को कोर्ट ने दोषी ठहराया।
दोनों ने खुद को निर्दोष बताया और आरोप लगाया कि इसके पीछे 'शक्तिशाली लोग' हैं, जो उन्हें बलि का बकरा बना रहे।
जमानत
पिछले साल ही मामले में मिली थी जमानत
मामले में दिसंबर में पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट ने 10 लाख रुपये के मुचलके पर इमरान को जमानत दी थी।
हालांकि, अन्य मामले होने के कारण खान जेल में ही रहे।
कुछ दिनों बाद न्यायमूर्ति मियांगुल हसन औरंगजेब ने कानूनी खामियों को देखते हुए विशेष कोर्ट को आगे की कार्यवाही करने से रोक दिया।
13 दिसंबर को इस मामले में दूसरी बार दोनों दोषी ठहराए गए और फिर स्पेशल कोर्ट में सुनवाई शुरू हुई।
मामल
क्या है साइफर मामला?
साइफर मामला पाकिस्तान की सुरक्षा से जुड़ा है। खान पर गुप्त जानकारी का इस्तेमाल अपने निजी लाभ के लिए करने का आरोप है।
यह दस्तावेज मार्च, 2022 में वाशिंगटन स्थित पाकिस्तानी दूतावास द्वारा भेजा गया था और इसमें कानूनी रूप से एक गोपनीय सूचना थी।
इसी के जरिए खान और कुरैशी ने दावा किया था कि अमेरिका ने पाकिस्तान में PTI सरकार को गिराने की धमकी दी थी और उनकी सरकार को गिराने में अमेरिका का हाथ है।
अन्य मामला
इन मामलों में भी फंसे हैं इमरान खा
खान को 5 अगस्त, 2023 को तोशखाना मामले में इस्लामाबाद के एक ट्रायल कोर्ट ने दोषी करार दिया और अगले 5 साल तक उनके चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध लगा दिया था।
कोर्ट ने उन्हें 3 साल जेल की सजा सुनाई थी और एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया था।
इसके अलावा खान के खिलाफ 15 ऐसे मामले हैं, जो उनकी मुसीबतें और बढ़ा सकते हैं। इनमें 9 मई, 2022 को फौजी ठिकानों पर हमले का मामला भी शामिल है।
मुश्किल
PTI के सामने आम चुनावों को लेकर बढ़ी मुश्किलें
पाकिस्तान के आम चुनावों से पहले ही PTI की सार्वजनिक उपस्थिति काफी कम हुई है। पार्टी से उसका चुनाव चिन्ह छीन चुका है और उम्मीदवार व्यक्तिगत रूप से चुनाव लड़ने के लिए मजबूर हैं।
विश्लेषकों का कहना है कि यह संकेत है कि इस बार के चुनाव खान के लिए मुश्किल होने वाले हैं। इस बीच खबरें हैं कि खान और अन्य नेताओं को सजा हुई तो PTI पर प्रतिबंध लगाया जा सकता है।