अब दूध की जगह हवा और पानी से बनेगा मक्खन, इस स्टार्टअप कंपनी ने की शुरुआत
आम तौर पर मक्खन बनाने के लिए दूध की जरूरत पड़ती है। हालांकि, अमेरिका के कैलिफोर्निया की एक कंपनी ने हवा और पानी से ही मक्खन बना डाला है। माइक्रोसॉफ्ट कॉर्पोरेशन के संस्थापक बिल गेट्स ने इस कंपनी को अपना आर्थिक समर्थन दिया है। यह कंपनी एक स्टार्टअप है, जिसका नाम सेवर रखा गया है। इस मक्खन को बनाने के लिए कार्बन डाईऑक्साइड और हाइड्रोजन के अणुओं का इस्तेमाल किया जाता है।
सेवर ने तैयार किए दूध, चीज और मक्खन जैसे अन्य डेयरी-मुक्त उत्पाद
सेवर ने वसा अणुओं के निर्माण के लिए एक थर्मोकेमिकल प्रक्रिया को पेटेंट कराया है। इसके बाद ही कंपनी ने दूध, मक्खन, चीज और आइसक्रीम जैसे उत्पादों के डेयरी-मुक्त विकल्प तैयार किए। ये सभी उत्पाद वसा कार्बन और हाइड्रोजन परमाणुओं की श्रृंखलाओं से बने हैं। खास बात यह है कि इन उत्पादों की न केवल बनावट, बल्कि स्वाद भी असली दूध से बने उत्पादों जैसा ही है। जापान की एक कंपनी ने नमक के स्वाद वाला चम्मच भी बनाया है।
इस मक्खन को बनाने की प्रक्रिया में नहीं उत्पन्न होती ग्रीनहाउस गैस
इस मक्खन को बनाने की प्रक्रिया में कोई भी ग्रीनहाउस गैस नहीं उत्पन्न होती है और यह कंपनी किसी भी कृषि भूमि का उपयोग नहीं करती है। इसमें इस्तेमाल संश्लेषित वसा में वास्तविक पशु वसा की तुलना में कार्बन की मात्रा भी बहुत कम होती है। अब तक के स्वाद परीक्षणों से पता चला है कि इसका स्वाद दूध वाले मक्खन जैसा है। हालांकि, इसे बाजार में निकालने से पहले कंपनी को अभी भी कई चुनौतियों को पार करना होगा।
बिल गेट्स ने भी की सेवर के बनाए मक्खन की सराहना
सेवर की CEO कैथलीन अलेक्जेंडर ने कहा, "हम अपना मक्खन बेचने में सक्षम होने के लिए विनियामक अनुमोदन के माध्यम से काम कर रहे हैं। हम 2025 तक बिक्री के साथ आगे बढ़ने में सक्षम होने की उम्मीद नहीं कर रहे हैं।" बिल गेट्स ने सेवर की सराहना करते हुए कहा, "यह मक्खन स्वादिष्ट होता है और यह लगभग असली मक्खन जैसा होता है।" उनके अनुसार, यह कई रासायनिक प्रक्रिया से बने मक्खन से बेहतर है।
कंपनी कर रही कीमत कम करने का प्रयास
बिल गेट्स ने पोस्ट में लिखा,"सेवर कार्बन और हाइड्रोजन अणुओं को इस्तेमाल करके मक्खन तैयार करता है। इस कंपनी ने एक ऐसी प्रक्रिया विकसित की है, जिसमें हवा से कार्बन डाइऑक्साइड और पानी से हाइड्रोजन लेकर उन्हें गर्म किया जाता है। इसके बाद फैटी एसिड के पृथक्करण को ट्रिगर करने के लिए उनका ऑक्सीकरण करना और वसा का निर्माण शामिल है।" उन्होंने कहा, "सबसे बड़ी चुनौती कीमत कम करना है, ताकि सेवर के उत्पाद जनता के लिए किफायती हो सकें।"