अमेरिका: 105 वर्षीय महिला को 83 साल बाद मिली मास्टर्स डिग्री
अमेरिका में 105 साल की दादी मां को स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी से मास्टर्स की डिग्री मिली है। उन्हें यूनिवर्सिटी छोड़ने के लगभग 8 दशक बाद ये डिग्री मिली है। उन्होंने 1940 के दशक में यूनिवर्सिटी से मास्टर्स डिग्री लगभग पूरी कर ली थी, लेकिन द्वितीय विश्व युद्ध शुरू होने के कारण वे अंतिम पड़ाव पूरा नहीं कर पाईं। अब नियमों में बदलाव के बाद उन्हें यूनिवर्सिटी ने मास्टर्स डिग्री से नवाजा है। आइए पूरा मामला जानते हैं।
1941 में अधूरी छूट गई थी वर्जिनिया की मास्टर्स डिग्री
वर्जिनिया 'जिंजर' हिसलॉप 1941 में जब 22 साल की थीं, तब वे स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी से अपनी मास्टर्स डिग्री पूरी करने वाली थीं। उन्होंने अपनी सभी अनिवार्य कक्षाएं पूरी कर ली थीं, लेकिन अपना शोध पूरी तरह से खत्म नहीं कर पाई थीं। तभी पर्ल हार्बर हमले के बाद अमेरिका द्वितीय विश्व युद्ध में शामिल हो गया, जिसके कारण वर्जिनिया की प्राथमिकताएं बदल गईं। उन्होंने जल्द ही अपने कॉलेज बॉयफ्रेंड जॉर्ज से शादी कर ली, जो सेना में थे।
शादी के बावजूद शिक्षा के प्रति जुनूनी रहीं वर्जिनिया
जॉर्ज और वर्जिनिया के 2 बच्चे हुए, जिनमें से छोटे बच्चे का जन्म जॉर्ज के विदेश में तैनात हाेने के दौरान हुआ था। अपनी पारिवारिक जिम्मेदारियों के बावजूद वर्जिनिया शिक्षा को लेकर जुनूनी रहीं और कॉलेज निदेशक के तौर पर काम करते हुए स्कूल और कॉलेज के बोर्ड में दशकों सेवाएं दीं। इसके साथ ही उन्होंने वाशिंगटन की याकिमा घाटी में नए स्कूल खोलने के लिए फंड भी इकट्ठा किया। अंत में वे यहीं अपने परिवार के साथ रहने लगीं।
इस सप्ताहांत वर्जिनिया को दी गई डिग्री
आखिरकार इस सप्ताहांत वर्जिनिया को ग्रेजुएट स्कूल ऑफ एजुकेशन के डीन डैनियल श्वार्ट्ज द्वारा मास्टर डिग्री प्रदान की गई। डैनियल ने कहा कि अब डिग्री देने के लिए शोध की आवश्यकता नहीं है, जिस कारण वर्जिनिया मास्टर ऑफ आर्ट्स डिग्री पाने की सभी आवश्यकताओं को पूरा करती हैं। उन्होंने आगे कहा, "83 साल बाद हम इस महिला को सम्मानित कर रहे हैं, जिसने इतना कुछ किया है और यह सम्मान पाकर वह भी बहुत खुश हैं।"
90 साल की उम्र में महिला ने हासिल की मास्टर डिग्री
अमेरिका की रहने वाली 90 वर्षीय मिन्नी पायने ने हाई स्कूल की पढ़ाई पूरी करने के 73 साल बाद उत्तरी टेक्सास विश्वविद्यालय (UNT) से मास्टर डिग्री हासिल की है। इसके साथ ही वह UNT में पाठ्यक्रम पूरा करने वाली सबसे उम्रदराज छात्रा बन गई हैं। मिन्नी ने साल 1950 में हाई स्कूल की पढ़ाई पूरी करने के बाद 68 साल की उम्र तक ट्रांसक्रिप्शनिस्ट और वर्ड प्रोसेसर के रूप में भी काम किया हुआ है।