
भारत में साल 2026 तक होगी 10 लाख AI पेशेवरों की आवश्यकता, रिपोर्ट में दावा
क्या है खबर?
भारत में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) पेशेवरों की मांग में जबरदस्त इजाफा हो रहा है और 2026 तक ऐसे 10 लाख कुशल लोगों की आवश्यकता होगी।
यह पूर्वानुमान केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और IT मंत्रालय द्वारा जारी 'भारत की AI क्रांति विकसित भारत के लिए एक रोडमैप' नामक रिपोर्ट में जताया गया है।
मांग में यह उछाल देश की 2047 तक 23,000-35,000 अरब डॉलर (करीब 11.55-29.75 लाख अरब रुपये) की अर्थव्यवस्था बनने की महत्वाकांक्षा से प्रेरित है।
उच्च शिक्षा
इंजीनियरिंग शिक्षा में आया यह परिवर्तन
रिपोर्ट में उच्च शिक्षा खासकर इंजीनियरिंग में बड़े बदलाव पर प्रकाश डाला गया है, ताकि AI-संचालित नौकरी बाजार की मांगों को पूरा किया जा सके।
अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (AICTE) ने 2024-25 शैक्षणिक वर्ष के लिए स्वीकृत बीटेक सीटों में लगभग 16 फीसदी की वृद्धि की सूचना दी है।
यह वृद्धि कंप्यूटर विज्ञान और AI/ML, साइबर सुरक्षा, डाटा विज्ञान, क्लाउड कंप्यूटिंग और ब्लॉकचेन जैसे संबंधित क्षेत्रों के लिए सीटों में 50 फीसदी से अधिक की वृद्धि के कारण है।
बदलाव
तकनीकी शिक्षा में आया बदलाव
भारत का तकनीकी शिक्षा परिदृश्य तेजी से अंतःविषय और उद्योग-एकीकृत शिक्षा को अपना रहा है। इससे कोडिंग, क्रिएटिंग, सहयोग और नवाचार का नेतृत्व करने में उत्कृष्टता प्राप्त करने वाले इंजीनियर्स की नई पीढ़ी तैयार की जा सके।
विज्ञान, प्रौद्योगिकी, इंजीनियरिंग, गणित (STEM) से कला को जोड़ने की ओर बदलाव जोर पकड़ रहा है।
व्हीबॉक्स की इंडिया स्किल्स रिपोर्ट 2024 में भविष्यवाणी की गई है कि भारत का AI उद्योग 2025 तक 28.8 अरब डॉलर (2,448 अरब रुपये) तक पहुंच जाएगा।