महाराष्ट्र सरकार के खिलाफ MVA गठबंधन कर रहा है विरोध मार्च, जानिए प्रमुख बातें
मुंबई में शनिवार को विपक्षी गठबंधन महा विकास अघाड़ी (MVA) के तीनों दल शनिवार को महाराष्ट्र की एकनाथ शिंदे सरकार और राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के विरोध में मार्च निकाल रहे हैं। MVA के इस विरोध मार्च को 'हल्ला बोल' का नाम दिया गया है। वहीं, सत्तारूढ़ भाजपा ने भी MVA के नेताओं पर हिंदू देवी-देवताओं का अपमान करने का आरोप लगाते हुए 'माफी मांगो' प्रदर्शन का ऐलान किया है।
MVA क्यों निकाल रहा है विरोध मार्च?
MVA के इस विरोध मार्च को उद्धव ठाकरे गुट की शिवसेना, कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) की एकजुटता के तौर पर देखा जा रहा है। MVA ने कहा कि राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने छत्रपति शिवाजी महाराज पर विवादित टिप्पणी के जरिए उनका अपमान किया था और महाराष्ट्र सरकार चुप है। वहीं, MVA ने महाराष्ट्र और कर्नाटक के बीच चल रहे सीमा विवाद पर भी मोर्चा खोला है।
विरोध मार्च में कौन-कौन से नेता हो रहे हैं शामिल?
महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, NCP नेता अजित पवार, कांग्रेस नेता बालासाहेब थोराट समेत कई बड़े नेता MVA के विरोध मार्च में शामिल हो रहे हैं। MVA का कहना है कि मार्च के जरिए महाराष्ट्र सरकार के खिलाफ शांतिपूर्ण ढंग से विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। जानकारी के मुताबिक, यह मार्च जेजे अस्पताल के पास से शुरू होकर दक्षिण मुंबई में छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस पर समाप्त होगा।
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भाजपा ने क्या आरोप लगाया है?
भाजपा नेता आशीष शेलार ने कहा कि शिवसेना के नेताओं ने हिंदू देवी-देवताओं का अपमान कर हिंदू भावनाओं को ठेस पहुंचाने का काम किया है। उन्होंने कहा कि संजय राउत ने झूठा बयान देकर बाबासाहेब डॉक्टर भीमराव अंबेडकर के जन्मस्थान को लेकर विवाद पैदा किया है। उन्होंने आगे कहा कि एक अन्य नेता सुषमा अंधारे ने भगवान राम, भगवान कृष्ण, संत ज्ञानेश्वर और संत एकनाथ का भी अपमान किया है।
सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं
मुंबई पुलिस ने विरोध मार्च को देखते हुए सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए हैं। इस दौरान 317 पुलिस अधिकारी, 1,870 कॉन्स्टेबल, राज्य रिजर्व पुलिस बल की 22 प्लाटून के अलावा दंगा नियंत्रण पुलिस के 30 दस्तों को तैनात किया गया है।
राज्यपाल कोश्यारी ने क्या टिप्पणी की थी?
राज्यपाल कोश्यारी ने कुछ दिन पहले औरंगाबाद स्थित डॉ बाबासाहेब अंबेडकर मराठवाड़ा यूनिवर्सिटी में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा था कि छत्रपति शिवाजी महाराज पुराने समय के आदर्श बन गए हैं। उन्होंने कहा था कि आज के समय में महाराष्ट्र के युवा डॉ बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी जैसे मौजूदा समय के नेताओं को अपना आदर्श बना सकते हैं। गौरतलब है कि इस दौरान कार्यक्रम में NCP प्रमुख शरद पवार और गडकरी भी मौजूद थे।