
मुख्य फसलों की पैदावार को प्रभावित कर सकता है जलवायु संकट, अध्ययन में खुलासा
क्या है खबर?
जलवायु संकट एक वैश्विक चिंता है, जिसका बुरा असर मुख्य फसलों की पैदावार पर भी पड़ सकता है। एक नए अध्ययन से पता चला है कि जलवायु परिवर्तन के कारण हमारी कुछ मुख्य फसले जैसे मक्का, सोया, चावल, गेहूं, साबूदाना और ज्वार की पैदावार काफी प्रभावित हो सकती है, फिर भले ही किसान अपनी फसल की कितनी भी अच्छी देखभाल क्यों न कर लें। आइए इस अध्ययन के बारे में विस्तार से जानते हैं।
अध्ययन
54 देशों के 12,658 क्षेत्रों के डेटा पर किया गया यह अध्ययन
नेचर जर्नल में प्रकाशित इस अध्ययन के अनुसार, मुख्य फसलों की पैदावार प्रभावित होने से प्रति व्यक्ति में रोजाना 120 कैलोरी तक की कमी आ सकती है। इस अध्ययन के लिए अमेरिका और चीन के शोधकर्ताओं की टीम ने 54 देशों के 12,658 क्षेत्रों के डेटा का इस्तेमाल किया गया। अध्ययन में पाया गया कि अत्यधिक गर्मी, बढ़ती आय और अतिरिक्त कार्बन डाइटऑक्साइड के कारण सोया की उपज साल 2100 तक 26 प्रतिशत कम हो जाएगी।
प्रभाव
गरीब लोगों के लिए भोजन का खर्च उठाना हो जाएगा मुश्किल- शोधकर्ता
शोधकर्ताओं ने पाया कि सबसे अधिक नुकसान आधुनिक समय के ब्रेड बास्केट क्षेत्रों को होगा, जिनकी जमीन अधिक उत्पादक है, लेकिन उन्होंने यह वभी कहा कि गरीब देशों के लोग भोजन का खर्च उठाने में सबसे कम सक्षम होंगे। इलिनोइस यूनिवर्सिटी अर्बाना- शैंपेन के पर्यावरण अर्थशास्त्री और अध्ययन के प्रमुख लेखकर एंड्रयू हॉल्टग्रेन ने कहा, "जलवायु के प्रभाव पर किए गए बहुत से अध्ययनों से ये भी पता चला है कि इसका सबसे ज्यादा असर विश्व के गरीबों को पड़ेगा।"
मापन
फसलों की पैदावार पर मौसम परिवर्तन अनुकूल तरीकों का प्रभाव भी मापा गया
इस अध्ययन में फसलों की पैदावार पर मौसम परिवर्तवन अनुसार उठाए जाने वाले कदम के कुल प्रभाव को मापने के लिए अर्थमितीय विधियों का इस्तेमाल किया गया है। बता दें कि अर्थमितीय विधियों का इस्तेमाल सांख्यिकीय रूप में आर्थिक सिद्धांतों को मापने और उनका विश्लेषण करने के लिए किया जाता है। कोलंबिया क्लाइमेंट स्कूल के एक शोधकर्ता और अध्ययन के लेखक का कहना है कि अभी इस विषय पर और अध्ययन होने बाकि हैं।
अन्य अध्ययन
केले की खेती और आपूर्ति पर मंडरा रहा है जलवायु संकट
मुख्य फसलों से पहले यह अध्ययन सामने आया था कि जलवायु संकट केले की खेती और आपूर्ति के लिए गंभीर खतरा पैदा कर सकता है। क्रिश्चियन एड की नई रिपोर्ट 'गोइंग बनाना: हाउ क्लाइमेट चेंज थ्रेटेंस द वर्ल्ड्स फेवरेट फ्रूट' के अनुसार, बढ़ते तापमान, मौसम में तेजी से बदलाव कोस्टा रिका और कोलंबिया जैसे केले उगाने वाले देशों को नुकसान पहुंचा रहे हैं, जिससे फल की पैदावार कम हो रही है।