मणिपुर में सियासी हलचल; 7 विधायक दिल्ली पहुंचे, मुख्यमंत्री बीरेन सिंह के इस्तीफे की अटकलें
मणिपुर में बीते कई महीनों से जारी हिंसा के बीच अब सियासी हलचल भी होने लगी है। राज्य के कम से कम 7 विधायकों ने दिल्ली में डेरा डाल लिया है, जिसके बाद अटकलें हैं कि राज्य की कमान मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह की जगह किसी दूसरे शख्स को दी जा सकती है। हालांकि, सिंह ने इन अटकलों को खारिज करते हुए कहा है कि कुछ लोग स्वार्थों के चलते ऐसी अफवाहें फैला रहे हैं।
विधायकों ने हिंसा के समाधान के लिए बनाया दबाव- रिपोर्ट
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, भाजपा और उसकी सहयोगी नागा पीपुल्स फ्रंट (NPF) के 7 विधायक दिल्ली पहुंचे हैं। इन लोगों ने भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व पर हिंसा के समाधान के लिए दबाव बनाया है। रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से लिखा कि कई विधायकों ने मणिपुर हिंसा से निपटने के तरीके पर असंतोष व्यक्त किया और जनता से महसूस किए जा रहे दबाव से केंद्रीय नेतृत्व को अवगत कराया।
विधायकों ने क्या कहा?
दिल्ली पहुंचे भाजपा विधायक के इबोमचा सिंह ने कहा कि विधायक केंद्रीय नेतृत्व से शिष्टाचार भेंट के लिए आए हैं। उन्होंने कहा, "हमने मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) विधायकों की बैठक की थी, जिसमें प्रधानमंत्री, गृह मंत्री और अन्य वरिष्ठ नेताओं से मिलकर राज्य में समस्या का सम्मानजनक समाधान के लिए अनुरोध करने का निर्णय लिया। मणिपुर मुद्दा नई सरकार के 100-दिवसीय कार्यक्रम में शामिल है, इसलिए हमने केंद्रीय नेताओं से बात करने का फैसला किया है।"
मामले पर मुख्यमंत्री ने क्या कहा?
मुख्यमंत्री सिंह ने सियासी बदलाव की अटकलों को खारिज किया। उन्होंने कहा, "ऐसी अफवाह फैलाई जा रही है कि विधायक केंद्रीय नेतृत्व से मेरा इस्तीफा मांगने गए हैं। इन बातों में कोई सच्चाई नहीं है। प्रधानमंत्री और गृह मंत्री किसी भी चुनौती से निपटने के लिए हरसंभव प्रयास कर रहे हैं। संसद सत्र चल रहा है, इस कारण हम सभी नहीं जा सकते। बाद में हम दिल्ली जाएंगे और राज्य में शांति के लिए दबाव बनाएंगे।"
27 जून को हुई थी विधायकों की बैठक
27 जून को मुख्यमंत्री ने राज्य के सभी NDA विधायकों के साथ बैठक की थी। बैठक में मौजूद एक भाजपा विधायक ने कहा, "14 महीनों से कोई सामान्य स्थिति नहीं रही है और लोगों के दिलों में जो है, वह लोकसभा चुनाव के नतीजों में झलक रहा है। लोग हमसे खुश नहीं हैं। सभी विधायक इसे महसूस कर रहे हैं। दिल्ली की पिछली यात्राओं में केंद्र से उचित प्रतिक्रिया नहीं मिली है। विधायक चाहते हैं कि अंतिम संदेश दिया जाए।"
मणिपुर में 14 महीने से हिंसा जारी
मणिपुर में हिंसा की शुरुआत 3 मई, 2023 को हुई थी। इसकी तात्कालिक वजह मणिपुर हाई कोर्ट का एक फैसला था, जिसमें उसने राज्य सरकार से मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति (ST) का दर्जा देने पर विचार करने को कहा था। इसके विरोध में कुकी समुदाय ने मार्च निकाला और हिंसा भड़क उठी। हिंसा में अब तक 200 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई है 60,000 लोग विस्थापित हुए हैं।