हाई कोर्ट ने दी मजदूर अधिकार कार्यकर्ता नवदीप कौर को जमानत, जेल से होंगी रिहा
क्या है खबर?
पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट ने मजदूरों के अधिकारों के लिए लड़ने वाली महिला कार्यकर्ता नवदीप कौर को जमानत दे दी है। उन्हें सोनीपत में मजदूरों के विरोध प्रदर्शन से गिरफ्तार किया गया था और वह पिछले डेढ़ महीने से जेल में बंद हैं।
उन्हें इससे पहले दो मामलों में भी जमानत दी जा चुकी थी और अब तीसरे मामले में भी जमानत के बाद वह जेल से रिहा हो सकेंगी। वह करनाल जेल में बंद हैं।
गिरफ्तारी
12 जनवरी को गिरफ्तार की गईं थी नवदीप कौर
पंजाब के मुक्तसर शहर की रहने वालीं नवदीप कौर को 12 जनवरी को सोनीपत के कुंडली इलाके से गिफ्तार किया गया था।
मजदूर किसान संगठन की सदस्य नवदीप ने इस दिन अन्य मजदूरों के साथ मिलकर इलाके की एक फ्रैक्ट्री का घेराव किया था और मजदूरों का बकाया वेतन चुकाने की मांग की थी।
इस दौरान मजदूरों की पुलिस से झड़प भी हुई थी और कई पुलिसकर्मी और मजदूर घायल हुए थे।
आरोप
नवदीप पर फिरौती और हत्या की कोशिश के आरोप
पुलिस का आरोप है कि नवदीप और मजदूर अधिकार संगठन के दूसरे कार्यकर्ता मजदूरों के बकाया वेतन के भुगतान का बहाना लेकर कुंडली की एक फैक्ट्री में 'अवैध वसूली' के लिए घुसने का प्रयास कर रहे थे।
पुलिस ने नवदीप के उकसाने पर मजदूरों के पुलिसकर्मियों पर हमला करने का आरोप भी लगाया है जिसमें सात पुलिसकर्मी घायल हुए।
नवदीप के खिलाफ हत्या की कोशिश, फिरौती, दंगा करने और आपराधिक धमकी जैसी संगीन धाराओं में मामले दर्ज किए गए हैं।
जमानत
हाई कोर्ट ने कहा- हत्या की कोशिश के आरोपों को सिद्ध करने वाले सबूत नहीं
नवदीप को फिरौती और आपराधिक धमकी के मामलों में पहले ही जमानत मिल गई थी औऱ अब हाई कोर्ट ने उन्हें हत्या की कोशिश के मामले में भी जमानत दे दी है।
जस्टिस अवनीश जिंगघन की बेंच ने अपने आदेश में कहा कि प्रथमदृष्टया ऐसा कोई सबूत नहीं है जिससे नवदीप के खिलाफ हत्या की कोशिश के आरोप सिद्ध होते हों। कोर्ट ने उन्हें कानून व्यवस्था को भंग न करने की शर्त पर जमानत दी है।
आरोप
नवदीप ने पुलिस पर लगाया है यौन उत्पीड़न का आरोप
नवदीप ने अपनी जमानत याचिका में हरियाणा पुलिस पर हिरासत में उनका यौन उत्पीड़न करने का आरोप भी लगाया है। मेडिकल रिपोर्ट में भी उनके शरीर और निजी अंगों पर घाव मिले हैं।
हाई कोर्ट ने इस संबंध में मेडिकल रिपोर्ट मंगाई हैं और मामले पर बाद में विस्तृत सुनवाई की जाएगी।
इसके अलावा कोर्ट ने नवदीप को अवैध तरीके से हिरासत में रखने के आरोपों पर भी स्वत: संज्ञान लिया है और इस पर भी बाद में सुनवाई होगी।
दूसरा पक्ष
पुलिस ने आरोपों को बताया गलत
दूसरी तरफ सोनीपत पुलिस ने नवदीप को 'अवैध हिरासत में रखने और यौन उत्पीड़न' के आरोपों का खंडन किया है।
पुलिस का कहना है कि गिरफ्तारी के बाद नवदीप के थाने के महिला प्रतीक्षालय में रखा गया था और वहां रहने के दौरान दो महिला पुलिसकर्मी उनके साथ मौजूद थीं।
पुलिस ने यह भी कहा कि नवदीप ने लिखित में दिया है कि उनके साथ कोई उत्पीड़न नहीं हुआ है तो वो मेडिकल जांच नहीं करवाना चाहती।